राजधानी में ऑक्सीजोन के शुभारंभ के बाद मुख्यमंत्री बघेल ने पत्रकारों से चर्चा करते हुए कहा, स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव के साथ मनमुटाव की खबरों को सिरे से खारिज कर दिया गया। मुख्यमंत्री ने कहा, किसी के बीच कोई गलतफहमी नहीं है। सारे मंत्री एक हैं। इसे लेकर यदि किसी को गलतफहमी है तो उसे दूर कर लेना चाहिए। दरअसल मंत्री सिंहदेव के एक ट्वीट के बाद इस बात की चर्चा थी कि जय-वीरु की जोड़ी में दूरियां बढ़ गई है।
वहीं अधिकृत बयान देने के लिए दो मंत्रियों की नियुक्ति पर मुख्यमंत्री बघेल ने कहा, आप सब शुरू से देख रहे हैं कि मंत्रिपरिषद के बैठकों के बाद मंत्री मोहम्मद अकबर और मंत्री रविन्द्र चौबे ही सरकार की तरफ से अपनी बात रखते हैं। पत्रकारों के तरफ से ही मांग आईं थी कि सरकार की तरफ से अधिकृत बयान देने के लिए किसी को अधिकृत किया जाए। इसके बाद ही इसका आदेश जारी हुआ है।
हरदेव मामले में भाजपा फैला रही भ्रम
मुख्यमंत्री बघेल ने कहा, धमतरी के युवक हरदेव सिन्हा को चावल भी पहुंचा था और मनरेगा के तहत काम भी मिला था। शासन की योजनाओं का लाभ मिल रहा था। इस प्रकार का कदम उठाया जाना दुखद है। उसे ऐसे कदम नहीं उठाना था। जहां तक मेरे से मिलने की बात है तो उसने कोई आवेदन नहीं किया था और ना ही कोई संपर्क साधा था। हर मामले में भाजपा गलतफहमी पैदा करने की कोशिश करती है और अभी भी कर रही है।
इधर, रमन ने पूछा क्या हुआ तेरा वादा
पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने प्रदेश सरकार पर फिर हमला बोला है। उन्होंने मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के पुराने ट्वीट को शेयर करते हुए पूछा कि क्या हुआ तेरा वादा? वो गंगाजल वाली कसम, वो नवा छत्तीसगढ़ का इरादा। रमन ने आगे लिखा है कि सत्ता मिलते ही युवाओं को दरकिनार करने वाले मुखिया भूपेश बघेल ने सिर्फ शराबियों से किया गुप्त वादा निभाया है। राहुल गांधी के प्रिय मुखिया सत्ता प्राप्ति के बाद तन-मन-समर्पण से शराबबिक्री में लगे हुए हैं।