छत्तीसगढ़ अधिकारी कर्मचारी फेडरेशन के पदाधिकारियों ने बताया कि यदि मौजूदा दौर में महंगाई भत्ता और भाड़ा भत्ता लागू कर दिया जाए तो हर कर्मचारी को 5000 अधिक मिलेंगे. इस तरह से देखा जाए तो हर महीने सरकारी दफ्तर में काम करने वाले हर कर्मचारी का 5000 रुपए महीने का नुकसान हो रहा है. प्रदेश के अलग-अलग विभागों में लगभग 5 लाख कर्मचारी काम करते हैं इस आंदोलन में सभी कर्मचारी संगठन एक साथ काम कर रहे हैं.
25 जुलाई से 29 जुलाई तक चलने वाले काम बंद कलम बंद आंदोलन में छत्तीसगढ़ टीचर्स एसोसिएशन ने भी अपना समर्थन दे दिया है. छत्तीसगढ़ के स्कूलों में काम करने वाले टीचर भी स्कूल नहीं जाएंगे, ऐसे में स्कूलों को बंद रखने की नौबत भी सामने आ रही है. हालांकि स्कूल बंद रहेंगे या नहीं इसे लेकर शिक्षा विभाग की तरफ से कोई स्पष्ट निर्देश जारी नहीं किया गया है, मगर टीचरों ने कह दिया है वो स्कूल नहीं जाने वाले.
कर्मचारी नेताओं ने रायपुर में प्रदेश स्तरीय बैठक आयोजित की. इस दौरान शासन से मांग की गई है कि केंद्र की तरह महंगाई भत्ते में बढ़ोतरी की जाए, सातवें वेतनमान के अनुरूप भाड़ा भत्ता स्वीकृत किया जाए . इस आंदोलन में लगभग 75 कर्मचारी संगठन एक साथ आंदोलन में शामिल हो रहे हैं