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छत्तीसगढ़ में बाघों की गिनती करने तीन हजार कैमरे, 1500 कर्मचारियों को होगी तैनाती

locationरायपुरPublished: Sep 27, 2021 03:40:37 pm

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CG Desk

– बारिश के थमने के बाद अक्टूबर के प्रथम सप्ताह में वह बाघ के संभावित विचरण क्षेत्र और कोर इलाके में जाकर बाघ की गणना का काम करेंगे।

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रायपुर. प्रदेश के जंगलों में बाघों की गिनती का काम अक्टूबर से शुरू होगा। इसके लिए करीब 1500 कर्मचारियों को तैनात किया जाएगा। साथ ही करीब 3000 ट्रैप कैमरे लगाए जाएंगे।

भारतीय वन्यजीव संस्थान देहरादून के निर्देश पर वन विभाग के अधिकारी इसकी तैयारियों में जुटे हुए है। इसके लिए मास्टर ट्रेनर को प्रशिक्षण के लिए राजस्थान के रणथम्बौर भेजा गया था। वह प्रशिक्षण पूरा करने के बाद फिल्ड में तैनात अमले को प्रशिक्षित कर चुके है। बारिश के थमने के बाद अक्टूबर के प्रथम सप्ताह में वह बाघ के संभावित विचरण क्षेत्र और कोर इलाके में जाकर बाघ की गणना का काम करेंगे। गणना का काम चार चरण में किया जाना है। वन्यप्राणी मुख्यालय ने पहले चरण की गिनती अक्टूबर माह में कराने की तैयारी कर ली है।

बाघों की संख्या में इजाफे के संकेत
वन विभाग के अधिकारिक सूत्रों का कहना है कि कोरोनाकाल में जंगलों को पर्यटकों के लिए बंद करने और अनूकुल स्थिति को देखते हुए सभी वन्य प्राणियों की संख्या बढ़ी है। इसके चलते शाकाहारी वन्य प्राणी जंगलों के बाहर निकलकर रिहायशी इलाकों की ओर रूख करने लगे थे। इसे देखते हुए बाघों की संख्या भी 19 से बढ़कर 30 तक होने की संभावना है। बता दें कि भारतीय वन्यजीव संस्थान देहरादून 4 वर्ष में एक बार बाघ आकलन कराता है।

चार चरणों में ऐसे होगी गिनती

पहला : कर्मचारी जंगल में तय ट्रांजिट लाइन पर चलकर बाघ के पगमार्क, मल, पेड़ों पर खरोंच और घास में बैठने या लेटने के निशान देखकर क्षेत्र में उसकी उपस्थिति दर्ज करेंगे।
दूसरा : वन्यजीव संस्थान के वैज्ञानिक उस क्षेत्र का सेटेलाइट से लिए गए डाटा का अध्ययन करेंगे।
तीसरा : ट्रैप कैमरे से बाघों के फोटो लिए जाएंगे जिनका बाद में वन्यजीव संस्थान के वैज्ञानिक आपस में मिलान करेंगे।
चौथा : टाइगर रिजर्व के अंदर विचरण करने वाले बाघों की गिनती होगी।

बाघों की गणना का कार्य जल्दी ही शुरू किया जाएगा। इसके लिए मास्टर ट्रेनर और फिल्ड में तैनात अमले को प्रशिक्षण दिया जा चुका है।
– पीवी नरसिंह राव, पीसीसीएफ वाइल्ड

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