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कल मंडियों में अनिश्चितकाल के लिए खरीदी बंद

locationरायसेनPublished: Sep 02, 2023 09:26:55 pm

Submitted by:

praveen shrivastava

11 सूत्रीय मांगों को लेकर हड़ताल, सहकारिता कर्मचारी, पटवारियों की हड़ताल जारी।

कल मंडियों में अनिश्चितकाल के लिए खरीदी बंद
कल मंडियों में अनिश्चितकाल के लिए खरीदी बंद
रायसेन. कर्मचारियों के साथ व्यापारियों ने भी हड़ताल का रुख किया है। 11 सूत्रीय मांगों को लेकर मंडी के पंजीकृत व्यापारियों ने कल से अनिश्चितकाल के लिए खरीदी का काम बंद करने का निर्णय लिया है। वहीं दूसरी ओर सहकारिता कर्मचारियों की हड़ताल बीते 17 दिन से लगातार जारी है। पटवारियों की हड़ताल भी सात दिन से जारी है। जानकारी के अनुसार पॉलिटेक्निक और इंजीनियरिंग कॉलेजों के अतिथि विद्वान भी आज से हड़ताल पर जा रहे हैं। इस तरह विभिन्न हड़तालों से गरीब, मध्यम वर्गीय, किसान के साथ अब विद्यार्थी भी प्रभावित होने वाले हैं।
ये हैं व्यापारियों की मांगें
- मंडी समितियों में पूर्व से आवंटित भूमि/संरचनाओं पर भूमि एवं संरचना आबंटन नियम 2009 लागू नहीं किया जाए। कलेक्टर गाइड लाइन से लीज दरों का निर्धारण नहीं रखकर नामिनल दरें रखी जाएं।
- मंडी फीस दर एक प्रतिशत की जाए।
- निराश्रित शुल्क समाप्त किया जाए।
- मंडी अधिनियम की धारा 19(2) धारा 19(4) धारा 46(ड) एवं धारा 46(च) में संशोधन किया जाए।
- लायसेंस प्रतिभूति की अनिवार्यता हटाई जाए।
- वाणिज्यिक संव्यवहार की पृथक अनुज्ञप्ति व्यवस्था एवं निर्धारित फीस 25 हजार रुपए की वृद्धि समाप्त कर पूर्व फीस 5 हजार रुपए बहाल की जाए। मंडी समितियों को धारा 17(2) चौदह एवं 30 में प्रदत्त अधिकार यथावत रखे जाएं।
- लेखा सत्यापन/पुन: लेखा सत्यापन कार्रवाई समाप्त की जाए।
- कृषक खरीदी प्रतिभूति बढ़ाने के दबाव पर रोक लगाई जाए।
- विक्रेता की जोखिम पेटे नवीन प्रतिभूति जमा कराने पर जमा पुरानी प्रतिभूति एक निर्धारित अवधि में वापस करना सुनिश्चित कराया जाए।
- धारा 23 अंतर्गत गाडिय़ों को रोकने की शक्ति प्रावधान की परिधि बाहर जाकर मंडी बोर्ड कार्यालय स्तर से गठित किए जाने वाले जांच दलों पर रोक लगाइ्र जाए।
सहकारिता कर्मचारियों ने किया सुंदरकांड
इधर सेवासहकारी समितियों के कर्मचारियों ने बेतवा किनारे गणेश मंदिर में सुंदरकांड का पाठ किया। कर्मचारियों ने कहा कि मुख्यमंत्री की सद्बुद्धि के लिए सुंदरकांड का पाठ किया, ताकि वे सहकारी कर्मचारियों की मांगों को पुरा करें और कर्मचारी काम पर लौटें। उल्ल्लेखनीय है कि सहकारिता कर्मचारियों की हड़ताल से गरीबों को मिलने वाले राशन पर संकट छा गया है। अगस्त माह का राशन तो हड़ताल से पहले 78 प्रतिशत तक बंट गया था, लेकिन अब सहकारी समितियां सितंबर के राशन को नहीं उठा रही हैं।
पटवारी जमा कर चुके हैं बस्ते
पटवारी भी अपनी मांगों को लेकर हड़ताल पर चले गए हैं। दो दिन पहले सभी पटवारियों ने तहसीलों मं अपने बस्ते जमा कर काम बंद कर दिया। जिससे किसानों के जमीनी संबंधी काम रुक गए हैं। चुनाव की तैयारियां शुरू हो गई हैं, ऐसे में पटवारियों की हड़ताल तैयारियों को प्रभावित कर रही है।
अतिथि व्याख्याताओं ने भी खोला मोर्चा
तकनीकी शिक्षा विभाग के पॉलीटेक्निक और इंजीनियरिंग कॉलेजों में अतिथि व्याख्याताओं ने भी मोर्चा खोल दिया है। जो अनिश्चितकालीन कलम बंद हड़ताल पर चले गए हैं। उनका कहना है कि कई वर्षों से 400 रुपए प्रति लेक्चर के मान से कार्यरत हैं। मुख्यमंत्री ने महापंचायत बुलाकर 12 माह फिक्स मानदेय, 65 वर्ष स्थायित्व की घोषणा का आश्वासन दिया, लेकिन आज तक विभागीय अधिकारियों द्वारा महापंचायत के लिए कोई भी सकारात्मक सूचना नहीं दी गई। जिससे अब आदेश जारी नहीं होने तक अनिश्चित कालीन कलमबंद हड़ताल पर जाने का निर्णय लिया है।
इनका कहना है
मंडी के व्यापारियों ने अनिश्चितकालीन खरीदी बंद रखने का नोटिस दिया है। किसानों को इस बारे में सूचना दी जा रही है, ताकि वे अपनी उपज लेकर मंडी न आएं।
आरपी शर्मा, सचिव कृउमं रायसेन
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