इन दिनो जारी मुख्यमंत्री पर्यटन पखवाड़ के तहत प्रशासन ने यह निर्णय लिया है। आयोजन की तैयारी के लिए शुक्रवार सुबह जिला पंचायत सीईओ प्रवीण सिंह, एसडीएम ममता खेड़े और सांसद प्रतिनिधि शैलेष गुप्ता ने सर्किट हाऊस पहुंचकर वहां से जलमहल का निरीक्षण किया और इस आयोजन की रूपरेखा तैयार की। सीईओ ने बताया कि एतिहासिक इमारत को पहचान दिलाने की सोच से पहले चरण में जलमहल पर धनतेरस के दिन दीपोत्सव मनाया जाएगा। जिसमें शहर के लोगो को भी भागीदार बनाया जाएगा।
लोगो को जलमहल तक पहुंचाने के लिए प्रशासन द्वारा बोट सहित अन्य व्यवस्थाएं की जाएगी। इसके बाद जलमंदिर के विकास के लिए अन्य योजनाएं तैयार की जाएगी। उल्लेखनीय है की बेहद सुंदर और एतिहासिक होने के बावजूद देखरेख के आभाव जर्जर होकर अपनी पहचान खोता जा रहा था। ऐसे में इसे लोगो के बीच पर्यटन स्थल के रूप में विकसित करने की सोच से यह निर्णय लिया गया है।
विकसित होगा छारबाग
शहर की प्राचीन धरोहरों के सरंक्षण की सोच से एसडीएम ममता खेड़े की पहल पर शुक्रवार को बांसवाड़ा स्थित छारबाग पर स्वच्छता के लिए श्रमदान का आयोजन किया गया। जहां लोगो की नगरवासी, नगरपालिका , अधिकारियों और जनप्रतिनिधियों की उपस्थिति में वहां स्थापित राजसी काल की छत्रियों के आसपास के परिसर पर सफाई की शुरूआत हुई। इस मौके पर मौजूद जिला पंचायत सीईओ की पहल पर पुरात्तविक अधिकारी बी एस चौहान ने जल्द ही छत्रियों के चारों और करीब दस लाख की लागत से बाउंड्री वाल बनाने, छत्रियों पर जमा मलबा हटवाने सहित क्षतिग्रस्त हो चुकी छत्रियों के जीर्णाधार के कार्य की शुरूआत करने की बात कही। सुबह करीब सात बजे प्रांरभ श्रमदान लगभग दो घंटे चला । जिसमें खादी ग्रामोद्योग निगम के उपाध्यक्ष रघुनंदन शर्मा, नपाध्यक्ष मंगला गुप्ता, जिला पंचायत सीईओ, एसडीएम, तेजेन्द्र उपाध्याय, ब्रजमोहन सरावत सहित बड़ी संख्या में नगरवासी ,अधिकारी, कर्मचारी मौजूद थे।
* नेवज नदी पर बना जलमहल बनावट और प्राकृतिक रूप से काफी सुंदर है। लेकिन लोगो की नजर से दूर है। ऐसे में दीपोत्सव के माध्यम इस स्थान को पहचान दिलाने का प्रया सकर रहे है।
– ममता खेड़े एसडीएम राजगढ़
* राजगढ़ जिला खासकर शहर एतिहासिक धरोहरों से भरापड़ा है। लेकिन उचित देखरेख और योजनाओं के आभाव में इन्हें उचित पहचान नहीं मिल पाई है। इसकी लेकर छतरियों और जलमहल के विकास की योजना तैयार की है। शीघ्र ही शासन और जनसहयोग से इन स्थानों को उचित पहचान दिलाएंगे।
– प्रवीण सिंह, सीईओ जिला पंचायत