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पहली बार इलेक्ट्रिक इंजन के साथ आई ट्रेन, स्टेशन मास्टर ने पायलेट को झंडी दिखाकर किया रवाना

locationराजगढ़Published: Jul 02, 2020 12:02:19 pm

Submitted by:

KRISHNAKANT SHUKLA

आखिरी बार दौड़ा डीजल इंजन

electric engine news

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ब्यावरा. वर्षों पुराने मक्सी-रुठियाई रेलवे ट्रैक पर सोमवार को आखिरी बार डीजल ट्रेन दौड़ी। मंगलवार से उक्त ट्रैक पर बिजली वाली पैसेंजर गाड़ी चलने लगी है। अहमदाबाद और दरभंगा दोनों ओर से आने वाली साबरमती एक्सप्रेस बिजली वाले इंजन के साथ आईं। पहली बार इलेक्ट्रिक इंजन के साथ आई पैसेंजर गाड़ी की अगवानी स्टेशन प्रबंधन द्वारा की गई। स्टेशन मास्टर ने पायलेट की हौसला अफजाई की और झंडी दिखाकर रवाना किया।

रेलवे ट्रैक बनकर पूरी तरह से तैयार है
दरअसल, दो दिन पहले पचोर से मक्सी के बीच का रूट जांचने आए सीआरएस एके जैन, डीआरएम उदय बोरवाणकर ने उक्त ट्रैक को फाइनल कर दिया। इसके बाद यहां से अब बिजली वाली ट्रेनें दौडऩे लगी है। पहले दिन ट्रैन की रफ्तार 110 किमी प्रति घंटे आंकी जा रही है। ट्रेनों की रफ्तार के साथ ही समय भी अब उक्त ट्रैक पर बचने लगेगा। 188 किमी का मक्सी-विजयपुर इलेक्ट्रिक रेलवे ट्रैक बनकर पूरी तरह से तैयार है।


उज्जैन-रुठियाई में बदलते थे पॉवर, 45 मिनट बचेंगे
मक्सी-रुठियाई रेलवे ट्रैक पर चलने वाली पैसेंजर और लंबी दूरी की एक्सप्रेस गाडिय़ों में अब &0 से 45 मिनट का समय बचने लगेगा। अभी तक उज्जैन और रुठियाई में उक्त गाडिय़ांं पहुंचने के बाद पावर बदला जाता था। अपने गंतव्य से गाडिय़ां बिजली वाले पॉवर के साथ आती थी, लेकिन बीच में यह हिस्सा सिंगल बिना बिजली वाला होने के कारण यहां डीजल वाला इंजन लगाना पड़ता था। अब ट्रेनों के समय में बदलाव होने के साथ ही रफ्तार भी तेज होगी।


मंगलवास से पूरे ट्रैक में पैसेंजर गाडिय़ां भी इलेक्ट्रिक इंजिन से चलने लगीं। हालांकि फिलहाल साबरमती एक्सप्रेस ही है। ऐसे में उसकी अगवानी स्टेशन पर की गई। सोमवार को आने और जाने वाली दोनों गाडिय़ों में आखिरी बार डीजल इंजिन लगा था।
-पीएस मीना, स्टेशन मास्टर, ब्यावरा

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