शिकायतों को गंभीरता से लें अधिकारी
मुख्यमंत्री ने अवैध उत्खनन रोकने कलेक्टर और एसपी को स्वयं मॉनिटरिंग करने के निर्देश दिए हैं। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने रेत माफियाओं द्वारा अवैध रूप से रेत के उत्खनन और परिवहन को गंभीरता से लिया है। उन्होंने इस सबंध में खनिज विभाग के आला अफसरों को रेत माफियाओं पर सख्ती से लगाम लगाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा है कि राज्य को अवैध रूप से रेत उत्खनन और परिवहन से राजस्व में नुकसान उठाना पड़ रहा है।
मुख्यमंत्री ने अवैध उत्खनन रोकने कलेक्टर और एसपी को स्वयं मॉनिटरिंग करने के निर्देश दिए हैं। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने रेत माफियाओं द्वारा अवैध रूप से रेत के उत्खनन और परिवहन को गंभीरता से लिया है। उन्होंने इस सबंध में खनिज विभाग के आला अफसरों को रेत माफियाओं पर सख्ती से लगाम लगाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा है कि राज्य को अवैध रूप से रेत उत्खनन और परिवहन से राजस्व में नुकसान उठाना पड़ रहा है।
वाहनों को किया जाए जब्त
मुख्यमंत्री ने कहा कि जहां रेत के अवैध उत्खनन और परिवहन की शिकायतें मिलती हैं, वहां खनिज विभाग के अधिकारियों और मैदानी अमले से सतत रूप से नियमित रूप से निरीक्षण कराया जाए। उन्होंने कहा कि इन कार्यों में संलिप्त लोगों के विरूद्ध प्रकरण तैयार किए जाए। परिवहन के लिए प्रयुक्त वाहनों को जब्त करने की कार्रवाई भी की जाए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि जहां रेत के अवैध उत्खनन और परिवहन की शिकायतें मिलती हैं, वहां खनिज विभाग के अधिकारियों और मैदानी अमले से सतत रूप से नियमित रूप से निरीक्षण कराया जाए। उन्होंने कहा कि इन कार्यों में संलिप्त लोगों के विरूद्ध प्रकरण तैयार किए जाए। परिवहन के लिए प्रयुक्त वाहनों को जब्त करने की कार्रवाई भी की जाए।
सारे मशीन हटाए गए
राजनांदगांव शहर से लगे पनेका-बांकल में शिवनाथ नदी में चल रहे रेत खनन की जांच रिपोर्ट सामने आ चुकी है। ग्रामीणों द्वारा सप्लाई में लगे ट्रक रूकवाने और मीडिया में खबर प्रकाशित होने के बाद भी प्रशासन की ओर से जांच में देर कर दी गई। इस बीच खदान संचालक ने नदी के भीतर लगे सारे मशीनों को हटवा लिया। जबकि पर्यावरण विभाग के नियमों में स्पष्ट है कि नदी में किसी भी प्रकार की मशीन नहीं चलाया जा सकता। रेत की भराई भी श्रमिकों से करानी है, लेकिन वहां पोकलेन से रेत भरी जा रही थी। यदि जांच टीम तात्कालीक पहुंचती, तो मशीनों की जब्ती बनाई जा सकती थी। हालांकि यह पर्यावरण विभाग द्वारा जांच करने का विषय है, जो अभी बाकी है।
राजनांदगांव शहर से लगे पनेका-बांकल में शिवनाथ नदी में चल रहे रेत खनन की जांच रिपोर्ट सामने आ चुकी है। ग्रामीणों द्वारा सप्लाई में लगे ट्रक रूकवाने और मीडिया में खबर प्रकाशित होने के बाद भी प्रशासन की ओर से जांच में देर कर दी गई। इस बीच खदान संचालक ने नदी के भीतर लगे सारे मशीनों को हटवा लिया। जबकि पर्यावरण विभाग के नियमों में स्पष्ट है कि नदी में किसी भी प्रकार की मशीन नहीं चलाया जा सकता। रेत की भराई भी श्रमिकों से करानी है, लेकिन वहां पोकलेन से रेत भरी जा रही थी। यदि जांच टीम तात्कालीक पहुंचती, तो मशीनों की जब्ती बनाई जा सकती थी। हालांकि यह पर्यावरण विभाग द्वारा जांच करने का विषय है, जो अभी बाकी है।