आबकारी विभाग व पुलिस भी है संलिप्त
ज्ञात हो कि इन्हें रोकने वाले आबकारी विभाग व पुलिस भी चोर-चोर मौसेरे भाई की तर्ज पर रोक रहे है। जहां वे भी सरकार ही शराब बेच रहीं है तो अधिनस्थ वर्दीधारी कर्मचारी व अधिकारी भी ऐसे मौको का फायदा उठाकर कोचियों को पकड़ते है तथा धारा 34 दो का धौंस जमाकर प्रति कोचिये से 20 से 25 हजार की मोटी रकम लेकर उन पर कड़ी कार्रवाई का दिखावा कर तुरंत जमानत पर छोड़ देते है। जिससे ये कोचिए अपना व्यापार बढ़ाकर वार्ड से लेकर ग्रामीण अंचल के ग्राम भंडारपुर, माटेकट्टा, हरणसिंगी, नागतराई, राका, मेढ़ा, कोलेन्द्रा, ढारा, कलकसा सहित समस्त ग्रामीण क्षेत्रों में सक्रिय हो गए है और ये कोचिए धर्मनगरी व पुलिस थाने की शोभा बढ़ा रहे है। बताया जाता है कि इन कोचियों से वर्दीधारियों का महीना बंधा होने से ये पूरे दिन वसूली में ही संलग्न दिखते है।
ज्ञात हो कि इन्हें रोकने वाले आबकारी विभाग व पुलिस भी चोर-चोर मौसेरे भाई की तर्ज पर रोक रहे है। जहां वे भी सरकार ही शराब बेच रहीं है तो अधिनस्थ वर्दीधारी कर्मचारी व अधिकारी भी ऐसे मौको का फायदा उठाकर कोचियों को पकड़ते है तथा धारा 34 दो का धौंस जमाकर प्रति कोचिये से 20 से 25 हजार की मोटी रकम लेकर उन पर कड़ी कार्रवाई का दिखावा कर तुरंत जमानत पर छोड़ देते है। जिससे ये कोचिए अपना व्यापार बढ़ाकर वार्ड से लेकर ग्रामीण अंचल के ग्राम भंडारपुर, माटेकट्टा, हरणसिंगी, नागतराई, राका, मेढ़ा, कोलेन्द्रा, ढारा, कलकसा सहित समस्त ग्रामीण क्षेत्रों में सक्रिय हो गए है और ये कोचिए धर्मनगरी व पुलिस थाने की शोभा बढ़ा रहे है। बताया जाता है कि इन कोचियों से वर्दीधारियों का महीना बंधा होने से ये पूरे दिन वसूली में ही संलग्न दिखते है।
शराब बेचने वाले कर्मचारी भी लगे है अवैध उगाही में
ज्ञात हो कि बेलगांव स्थित सरकारी शराब दुकान में जिनकी ड्युटी लगाई गई है वे अस्थायी कर्मचारी कोचियो को देखते ही उन्हे आठ दस पौवे शराब उपलब्ध कराते है जिसके एवज में उन्हे सौ दो सौ रूपये अधिक दिया जाता है। तथा एक दिन में एक कोचिया पांच-छ: बार इस भट्टी से शराब ले जाते है। जबकि एक दिन में एक ग्राहक को चार पौवे से अधिक देने का नियम नहीं है। यही नहीं भीड़ होने के चलते ड्युटी पर तैनात कर्मचारी सरकारी शराब के बोतलों में छपे सरकारी दर से अधिक पैसे लेकर पौव्वा बेच रहे है।
ज्ञात हो कि बेलगांव स्थित सरकारी शराब दुकान में जिनकी ड्युटी लगाई गई है वे अस्थायी कर्मचारी कोचियो को देखते ही उन्हे आठ दस पौवे शराब उपलब्ध कराते है जिसके एवज में उन्हे सौ दो सौ रूपये अधिक दिया जाता है। तथा एक दिन में एक कोचिया पांच-छ: बार इस भट्टी से शराब ले जाते है। जबकि एक दिन में एक ग्राहक को चार पौवे से अधिक देने का नियम नहीं है। यही नहीं भीड़ होने के चलते ड्युटी पर तैनात कर्मचारी सरकारी शराब के बोतलों में छपे सरकारी दर से अधिक पैसे लेकर पौव्वा बेच रहे है।
अधिकारी को नहीं है जानकारी
आबकारी इंस्पेक्टर, निरूपमा लोन्हारे ने कहा कि इस संबंध में संबंधित अधिकारी पूछने पर बताया कि इस पूरे मामले को मैं अभी दिखवाती हूं, उसके बाद ही कोई कार्रवाई की जाएगी।
आबकारी इंस्पेक्टर, निरूपमा लोन्हारे ने कहा कि इस संबंध में संबंधित अधिकारी पूछने पर बताया कि इस पूरे मामले को मैं अभी दिखवाती हूं, उसके बाद ही कोई कार्रवाई की जाएगी।