कृषि विभाग को पत्र, जांच कर मांगा जवाब
एसडीएम सीपी बघेल ने सलोनी में प्रमाणित सोयाबीन बीज का बेहतर रिजल्ट नही होने की शिकायत पर कृषि विभाग को पत्र लिखकर अधिकारियों को इसकी जांच कर तीन दिन में रिपोर्ट मांगी गई है। एसडीएम सीपी बघेल ने बताया कि कृषि विभाग के अधिकारी मामले की जांच करेंगे। सलोनी समिति से कितने गांव के कितने किसानों को उक्त बीज का वितरण किया गया है, सलोनी के अलावा अन्य गांवों में बीज की क्या स्थिति है, इसके बाद इस बीज की गुणवत्ता सहित स्टाक का निरीक्षण भी किया जाएगा। एसडीएम बघेल ने किसानों को आश्वास्त किया जांच के बाद उचित कार्रवाई की जाएगी।
एसडीएम सीपी बघेल ने सलोनी में प्रमाणित सोयाबीन बीज का बेहतर रिजल्ट नही होने की शिकायत पर कृषि विभाग को पत्र लिखकर अधिकारियों को इसकी जांच कर तीन दिन में रिपोर्ट मांगी गई है। एसडीएम सीपी बघेल ने बताया कि कृषि विभाग के अधिकारी मामले की जांच करेंगे। सलोनी समिति से कितने गांव के कितने किसानों को उक्त बीज का वितरण किया गया है, सलोनी के अलावा अन्य गांवों में बीज की क्या स्थिति है, इसके बाद इस बीज की गुणवत्ता सहित स्टाक का निरीक्षण भी किया जाएगा। एसडीएम बघेल ने किसानों को आश्वास्त किया जांच के बाद उचित कार्रवाई की जाएगी।
किसानों ने ज्ञापन सौंप मांगी क्षतिपूर्ति
एसडीएम को ज्ञापन सौंपने के बाद इसकी जानकारी देते किसानों ने बताया कि सहकारी समिति सलोनी में कृषि विभाग द्वारा प्रमाणित सोयाबीन बीज जेएस 9305 का वितरण किसानों को किया गया है। सप्ताह भर पूर्व इसकी बोआई करने के बाद भी अब तक केवल 10 से 15 फीसदी बीज की उग पाए है। ऐसे में किसानों को दोबारा बीज बोना पड़ रहा है। समिति द्वारा भी विभागीय तौर पर कृषि विभाग के ऊपर मामला डाला जा रहा है। ऐसे में किसानों ने क्षतिपूर्ति की मांग भी की है। बताया गया कि प्रमाणित बीज समिति के माध्यम से अधिकांश किसानों को वितरित किया गया है। इसमें एक क्विंटल से अधिक बीज की खरीदी भी कई किसानों द्वारा की गई है।
एसडीएम को ज्ञापन सौंपने के बाद इसकी जानकारी देते किसानों ने बताया कि सहकारी समिति सलोनी में कृषि विभाग द्वारा प्रमाणित सोयाबीन बीज जेएस 9305 का वितरण किसानों को किया गया है। सप्ताह भर पूर्व इसकी बोआई करने के बाद भी अब तक केवल 10 से 15 फीसदी बीज की उग पाए है। ऐसे में किसानों को दोबारा बीज बोना पड़ रहा है। समिति द्वारा भी विभागीय तौर पर कृषि विभाग के ऊपर मामला डाला जा रहा है। ऐसे में किसानों ने क्षतिपूर्ति की मांग भी की है। बताया गया कि प्रमाणित बीज समिति के माध्यम से अधिकांश किसानों को वितरित किया गया है। इसमें एक क्विंटल से अधिक बीज की खरीदी भी कई किसानों द्वारा की गई है।