इस अवसर पर ‘एक भारत श्रेष्ठ भारत’ कार्यक्रम संचालन समिति के सभी सदस्यगण विशेष रूप से उपस्थित रहें। जोड़ीदार राज्य गुजरात की राज्यभाषा गुजराती का ज्ञान महाविद्यालय की छात्राओं को प्रदान करने के उद्देश्य से अतिरिक्त कक्षाओं का आयोजन महाविद्यालय में 13 एवं 14 जनवरी 2020 को किया गया। इन कक्षाओं में लगभग 150 छात्राओं ने गुजराती भाषा की लिपि एवं भाषा की सामान्य जानकारियां प्राप्त की। गुजराती भाषा की विशेषज्ञ श्रीमती धारा रायचा द्वारा गुजराती भाषा के तकनीकियों से छात्राओं को अवगत कराया गया।
अनेकता में एकता राष्ट्र की पहचान ‘एक भारत श्रेष्ठ भारत’ कार्यक्रम के समन्वयक एवं प्राणीशास्त्र विभाग के सहायक प्राध्यापक आलोक कुमार जोशी ने कार्यक्रम के अंतर्गत आयोजित किए जाने वाली सभी गतिविधियों की रूपरेखा प्रस्तुत की। उन्होंने कहा कि भारत विविधताओं का देश हैं, अनेकता में एकता हमारे राष्ट्र की पहचान हैं। अत: हमें हमारे देश की विभिन्न संस्कृतियों का सम्मान करना चाहिए एवं इस कार्यक्रम के माध्यम से हम सभी को इस दिशा में आगे बढऩे का एक सुनहरा अवसर हैं और मैं आशा करता हूं कि हम सभी निश्चित रूप से अपने उद्देश्यों में सफल होंगे। कार्यक्रम का सफल संचालन महाविद्यालय में राष्ट्रीय शिक्षा आभियान की महाविद्यालयीन इकाई के प्रभारी अधिकारी एवं भूगोल विभाग की सहायक प्राध्यापिका डॉ. निवेदिता, ए. लाल द्वारा किया गया। उन्होंने इस अवसर पर कहा कि यह उनके लिए गर्व का विषय है कि ‘एक भारत श्रेष्ठ भारत’ जैसे महत्वपूर्ण कार्यक्रम का आयोजन राष्ट्रीय उच्चतर शिक्षा अभियान के अंतर्गत उनके मार्ग निर्देशन में संपन्न किया जा रहा हैं उन्हें इसमें अपना योगदान प्रदान करने का अवसर प्राप्त हुआ।
सामान्य वाक्यों को सरल माध्यम से सिखाया गया गुजराती वर्णमाला, आम बोल-चाल के शब्दों तथा सामान्य वाक्यों को सरल माध्यम से सिखाया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ 13 जनवरी सुबह 11 बजे के ऑडिटोरियम में प्राचार्य डॉ. सुमन सिंह बघेल द्वारा किया गया। इस अवसर पर प्राचार्य डॉ. बघेल ने अपने उद्बोधन में कहा कि ‘एक भारत श्रेष्ठ भारत’ कार्यक्रम महाविद्यालय की छात्राओं के लिए एक सुनहरा अवसर हैं, जबकि वे जोड़ीदार राज्य गुजरात की संस्कृति, रहन-सहन, खानपान एवं रीति-रिवाजों से परिचय प्राप्त कर सकती हैं। उन्होंने आयोजन समिति के सदस्यों एवं प्रतिभागी छात्राओं को कार्यक्रम की सफलता के लिए शुभकामनाएं दी।