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गांव वालों को मालूम ही नहीं और विधायक की अनुशंसा से बना दी नई पंचायत

locationराजनंदगांवPublished: Oct 18, 2019 12:06:31 pm

Submitted by:

Nakul Sinha

एक पंचायत को लांघ कर अपनी पंचायत जाने मजबूर होंगे ग्रामीण, पटवारी हल्का नंबर भी अलग

The villagers do not know and made the new Panchayat with the recommendation of the MLA

शिकायत… ग्रामीणों ने विधायक से मिलकर अपनी बात रखी।

राजनांदगांव / डोंगरगढ़. नए परिसीमन के तहत दो नई पंचायतों का गठन पंचायत की बगैर जानकारी, बिना अनुशंसा व बिना किसी आवेदन के कर दिया गया है। इसके लिए किसी तरह की दावा आपत्ति भी नहीं ली गई। दिलचस्प यह है कि विधायक दलेश्वर साहू की सहमति से इन दो इन पंचायतों का गठन हुआ और अब ग्रामीणों की शिकायत के बाद विधायक ने अपनी गलती मान ग्रामीणों को राहत दिलाने का आश्वासन दिया है। ग्रामीणों ने प्रशासन से भी गुहार लगाई है। इस मामले में ग्रामीण न्यायालय जाने की तैयारी में भी हैं। डोंगरगढ़ विकासखंड में परिसीमन के बाद एक पंचायत गोविंदपुर भी बनाया गया है। इसमें मक्काटोला पंचायत के आश्रित ग्राम हीरापुर को जोड़ दिया गया है। जबकि हीरापुर से गोविंदपुर की दूरी 6 किलोमीटर है तथा मक्काटोला की 3 किलोमीटर। फिर भी बिना किसी आवेदन के यहां के ग्रामीणों को यह फरमान जारी कर दिया गया।
न दावा न आपत्ति
आनन-फानन में जारी किए गए इस फरमान में जिलाधीश द्वारा ग्रामीणों से ना तो सहमति ली गई और ना ही आपत्ति बुलाई गई। जब ग्रामीणों को पता चला तो उन्होंने तत्काल क्षेत्र के विधायक दलेश्वर साहू के निवास आलीवारा जाकर गुहार लगाई है। विधायक ने स्वीकार किया कि उनकी सहमति से ही नई पंचायत का गठन हुआ है किंतु उन्हें यह जानकारी नहीं थी कि इससे हीरापुर वालों को परेशानी होगी।
होगी यह समस्या
मक्काटोला पंचायत में गत 25 वर्ष से हीरापुर आश्रित ग्राम है तथा मक्काटोला पहुंचने के लिए सीधी पक्की सड़क है। आवागमन का साधन होने के कारण ग्रामीणों को कोई परेशानी नहीं होती। 16 अक्टूबर को अचानक आदेश निकाल दिया गया कि हीरापुर को नई ग्राम पंचायत गोविंदपुर से जोड़ दिया गया है। गोविंदपुर पहुंचने के लिए हीरापुर से कोई सीधा रास्ता नहीं है। ग्रामीणों को मक्काटोला पार करके और 3 किलोमीटर चलकर गोविंदपुर पहुंचना होगा।

नहीं था कोई उल्लेख
ग्रामीणों का कहना है कि यह अनुचित है इसके लिए हीरापुर एवं मक्काटोला को किसी भी प्रकार की कोई जानकारी नहीं दी गई ना ही दावा आपत्ति का समय दिया गया जिससे ग्रामीण खासे नाराज हैं। ग्राम हीरापुर में एकल बुजुर्ग महिलाएं बड़ी संख्या में रहती हैं जिन्हें राशन के लिए प्रतिमाह पंचायत जाना पड़ता है। आवागमन का साधन नहीं होने से इन्हें भी खासी परेशानी का सामना करना पड़ेगा। ग्राम पंचायत में 15 दिन पहले दावा आपत्ति का प्रकाशन किया गया था किंतु नई पंचायत बनाने का कोई उल्लेख नहीं था। इस संबंध में साहू ने कहा कि उनकी बिना जानकारी में उनकी सहमति से ही यह कार्य हुआ है इस गलती को सुधारना वे हर संभव प्रयास करेंगे। जिलाध्यक्ष नवाज खान ने भी इस मामले को जल्द ही सुलझा लेने के संकेत दिए हैं। उन्होंने कहा कि वे जल्द ही सक्षम नेतृत्व से चर्चा करेंगे।
ग्रामीणों ने कहा हुआ छल
अपनी समस्या बताने के बाद बड़ी संख्या में ग्रामीण जिला कार्यालय भी पहुंचे। वहां भी प्रशासन के समक्ष अपनी बात रखी और बताया कि किस तरह उनके साथ छल हुआ है। ग्राम के ढेलूराम वर्मा, देवलाल वर्मा, सुदामा वर्मा, जोतसिंह वर्मा, धनीराम, श्यामलाल, रमेशर, भागबली, भगवानी, कपिलराम, जोहनराम, हेमूराम, पदुमलाल, धरमलाल, टेकराम, सोमनाथ वर्मा, शत्रुहन वर्मा, हितेश्वर, रामजी, चुरामन, लालचंद, हरिश्चंद्र सहित बड़ी संख्या में ग्रामीण अपने युवा सरपंच हेमलाल वर्मा को लेकर विधायक निवास व जिला कार्यालय गए। उन्होंने बताया कि ना तो उनसे सहमति ली गई और ना ही दावा आपत्ति के लिए कोई समय ही दिया गया।
अब मिला विधायक का आश्वासन
ग्रामीणों ने इस बड़ी परेशानी से बचने के लिए सक्षम नेतृत्व के समक्ष जाकर गुहार लगाई और विधायक ने उन्हें आश्वस्त किया कि हर संभव कोशिश करेंगे की हीरापुर ग्राम मक्काटोला पंचायत में ही यथावत रहे। नाराज ग्रामीणों ने यह भी कहा यदि शासन प्रशासन और जनप्रतिनिधियों से यह संभव नहीं हुआ तो वे जल्द ही न्यायालय का दरवाजा खटखटाएंगे। ज्ञातव्य है कि ग्राम हीरापुर कांग्रेसी बाहुल्य गांव है यहां से विधायक दलेश्वर साहू दोनों चुनाव में जीते हैं। फिर भी ग्रामीणों की आशा के विपरीत यह कार्य होने से ग्रामीण खासे नाराज हैं।

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