झील की पाल का सौन्दर्यीकरण करते हुए उद्यान का विकास भी प्रगति पर है। उद्यान में आने वाले लोगों के बैठने के लिए पचास से ज्यादा कुर्सियां जनसहयोग से कारोबारियों द्वारा लगाई गई है। जन सुरक्षा के लिहाज से पहले ही पाल का निर्माण बेहद सुविधाजनक है, लेकिन अब उसके रखरखाव की खास जरूरत है। छतरियों व सीढिय़ों पर उगते पेड़- पौधे पाल के निर्माण को कमजोर कर रहे हैं। रखरखाव समय पर हो तो ऐतिहासिक धरोहर की छतरयिां का सौंदर्य भी फिर से निखर सकता है। इससे झील की आभा और बढ़ेगी।
इरिगेशन पार्क में बना नक्शाघर भी ऐतिहासिक है। इस नक्शे में अरावली पर्वत शृंखलाओं को दर्शाते हुए झील भरने वाली नदियों-नहरों, नालों को उकेरा गया। हाइवे आठ, रेलवे लाइन के साथ झील से सिंचाई के लिए जाने वाले नहरों को भी अंकित किया गया है। इस तरह झील से सिंचाई के लिए छोड़े जाने वाले पानी की मॉनिटरिंग के लिए भी यह नक्शाघर कई मायने में कारगर सिद्ध हो रहा है। साथ ही भ्रमण के लिए आने वाले पर्यटकों को भी जिले के भौगोलिक परिदृश्य को बता रहा है।
सिंचाई उद्यान में भ्रमण के लिए आने वाले लोगों की सुविधा को देखते हुए नगरपरिषद द्वारा वातानुकूलित सुलभ शौचालय भी बनकर तैयार हो गया है, जिसे भी जल्द आमजन के लिए खोल दिया जाएगा। उद्यान में बच्चों के लिए भी कुछ नए झूले भी लगवाए गए हैं, जिससे लोगों का आकर्षण निरंतर बढ़ता जा रहा है।
पाल पर बनी ऐतिहासिक महत्व की सीढिय़ों, छतरियों व उनके फर्श पर खास ध्यान देने की जरूरत है। इन छतरियों के अंदर-बाहर इतनी गर्द जमा हो चुकी है कि बड़े-बड़े जाले पड़ चुके हैं। इससे अंदर-बाहर आने-जाने में भी ध्यान रखना पड़ता है। छतरियों व फर्श पर दरारें साफ देखी जा सकती है। यदि तत्काल मरम्मत नहीं करवाई गई तो निकट भविष्य में इन ऐतिहासिक धरोहरों को क्षति पहुंच सकती है।
पार्क के विकास में नगरपरिषद के साथ आमजन ने साझा प्रयास किया, लेकिन गायें पार्क के सौन्दर्य को बिगाड़ रही है। उद्यान की सुरक्षा व रखरखाव का जिम्मा संभालने वाले जेके टायर इंडस्ट्रीज को उनके अधीन कार्यरत चौकीदारों की मॉनिटरिंग की जरूरत है। सुबह से शाम तक उद्यान में कोई रखवाला नहीं दिखता, जिससे हर कहीं से गायें पार्क में घुस रही है।
पार्क के पार्किंग क्षेत्र व राड़ा जी की छतरी के पास लगे सीसीटीवी कैमरे भी काफी समय से बंद पड़े हैं। ऐसे में असामाजिक तत्वों पर निगरानी व उनकी पहचान में भी कई बार दिक्कत हो जाती है।
समग्र विकास ही ध्येय
सिंचाई उद्यान व पाल का समग्र विकास ही हमरा मुख्य ध्येय है। पाल व सीढिय़ों के साथ छतरियों से झाड़, जंखाड़ कटवाने के साथ व्यवस्थित साफ सफाई भी कर दी जाएगी।
जनार्दन शर्मा, आयुक्त, नगरपरिषद, राजसमंद