रेडक्रॉस सोसायटी से जुड़े बृजलाल कुमावत बताते हैं कि 28 दिन पूर्व ठीक हुए मरीज गत चार माह में जब भी पीडि़त रहे हैं, वे प्लाज्मा डोनेट कर गम्भीर रोगियों की जान बचाने में मदद कर सकते हैं। ऐसे प्लाज्मा दानी रेडक्रॉस सोसायटी से सम्पर्क कर सकते हैं।
13-15 यूनिट प्रतिदिन की है जिला अस्पताल में मांग
350 यूनिट हर माह की है खपत
600 यूनिट की है रक्त संग्रहण क्षमता ब्लड बैंक में
9 यूनिट रक्त उपलब्ध है 19 अक्टूबर तक अस्पताल में
18 शिविर लगे नौ माह में इस साल
3085 यूनिट रक्तदान हुआ है अब तक इस वर्ष
माह/ यूनिट/ कैम्प
जनवरी/ 211/ 5
फरवरी/ 411/ 4
मार्च/ 235/ 1
अप्रेल/ 258/ 0
मई/ 313/ 0
जून/ 659/ 3
जुलाई/ 304/ 0
अगस्त/ 342/ 0
सितम्बर/ 352/ 3
अक्टूबर/ 150/ 2 ये संस्थाएं नियमित रूप से कर रही हैं काम
1. जिला रेडक्रॉस सोसायटी
2. मधुकर रक्तपेढ़ी
3. टीम रक्त जीवनदाता
4. तेरापंथ युवक परिषद
5. महेश प्रगति संस्थान
6. एनएसयूआई-भाजयुमो
7. अन्य कई सामाजिक संस्थाएं
जिले में रक्तदान जागरूकता का कार्य पिछले 30 साल से नियमित चल रहा है। अब रक्तदाता का भय निकल चुका है। स्वैच्छिक रूप से वे सामने आने लगे हैं। स्वैच्छिक रक्तदाताओं को अब फोन कर समझाना नहीं पड़ता, खुद स्थिति के मुताबिक उपलब्ध हो जाते हैं। नियमित रक्तदाता भी आगे आते हैं, जिनके साथ नए जुड़ते चले जाते हैं। एक स्वस्थ्य व्यक्ति वर्ष में कम से कम एक बार भी रक्तदान कर ले तो बदले में रक्त लेने की जरूरत नहीं पड़ेगी।
राजकुमार दक, सामाजिक कार्यकर्ता