scriptFOLLOWUP : अब उज्ज्वला की गैस में तकनीकी अडंगा : देलवाड़ा के ४६ पात्र परिवारों का मामला | Not technological advances in gas of Ujvala at rajsamand | Patrika News

FOLLOWUP : अब उज्ज्वला की गैस में तकनीकी अडंगा : देलवाड़ा के ४६ पात्र परिवारों का मामला

locationराजसमंदPublished: Mar 13, 2018 11:10:03 am

Submitted by:

laxman singh

सांसद के आदेशों के बाद भी नहीं मिल पाया लाभ

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राजसमंद. पात्र परिवारों को उज्ज्वला योजना का लाभ देने में अब जिम्मेदारों ने तकनीकी अडंगा बताकर पल्ला झाड़ लिया है। मामला देलवाड़ा पंचायत के वार्ड १ में रहने वाले करीब ४६ परिवारों का है। इस वार्ड में रहने वाले गमेती परिवार के लोग बीपीएल कार्ड धारक होकर पिछले डेढ़ वर्ष से गैस कनेक्शन के इंतजार में है, लेकिन उन्हें आज तक कनेक्शन नहीं दिया गया। राजस्थान पत्रिका ने १९ फरवरी को ‘धुएं में उड़ रहे ‘उज्ज्वला’ के ख्वाब’, २० फरवरी को ‘प्राधिकरण ने पात्र परिवारों को तुरंत निशुल्क गैस कनेक्शन उपलब्ध करवाने के दिए निर्देश’ खबरें प्रकाशित की। इस पर हरकत में आए जिम्मेदार पात्र परिवारों से मिले, उनके आवश्यक कागजात देखे, लेकिन बाद में यह कहकर उनकी फाइल बंद कर दी कि २०११-१२ के सर्वे में आप लोगों के नाम नहीं आए हैं, इसलिए आपको कनेक्शन नहीं दिए जा सकते।
सर्वे में बताई खामी
स्थानीय निवासी शंभूलाल खटीक ने बताया कि पत्रिका में खबरें प्रकाशित होने के बाद गैस एजेंसी से कार्मिक आए थे, उन्होंने बताया कि वर्ष २०११-१२ जो सर्वे हुआ उनके इन पात्र परिवारों के मुखिया पुरुष हैं और उज्ज्वला योजना में महिलाओं को ही कनेक्शन दिया जाता है। ऐसे में इन परिवारों को कनेक्शन अभी नहीं दिया जा सकता।
प्राधिकरण और सांसद ने दिए थे आदेश
राजस्थान पत्रिका खबर प्रकाशित होने पर जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, (जिला एवं सेशन न्यायाधीश), राजसमंद के निर्देशानुसार नरेन्द्रकुमार, पूर्णकालिक सचिव, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, राजसमंद ने जिला रसद अधिकारी, राजसमंद को पत्र लिखकर निर्देशित किया था कि गरीब पात्र परिवारों को उक्त योजना का अविलंब लाभ दिलवाएं। साथ ही सांसद हरिओम सिंह राठौड़ ने पात्र परिवारों को निश्चित रूप से और जल्दी ही कनेक्शन दिलवाए जाने के आदेश दिए थे, लेकिन जिम्मेदारों तकनीकी अडंगा बताकर गरीबों को उनके हक से वंचित कर रखा है।
यह है मामला
केंद्र सरकार ने गरीब परिवारों की महिलाओं के चेहरों पर खुशी लाने के उद्देश्य से 1 मई 2016 को उज्ज्वला योजना शुरू की। योजना के तहत गरीब महिलाओं को मुफ्त एलपीजी गैस कनेक्शन दिए जाने थे, ताकि ग्रामीण क्षेत्रों में खाना पकाने के लिए उपयोग में आने वाले जीवाश्म ईंधन की जगह एलपीजी का उपयोग हो। लेकिन जिले में जिम्मेदारों की अनदेखी से यह योजना दम तोड़ रही है। जिले के देलवाड़ा कस्बे के वार्ड १ में करीब 46 परिवार रहते हैं, अधिकतर लोग गमेती जाति के हैं। करीब डेढ़ साल पहले इन परिवारों ने नाथद्वारा गैस एजेंसी में आवेदन किए थे, लेकिन आज दिन तक कनेक्शन नहीं मिला। परिवार के लोगों ने एजेंसी के चक्कर भी काटे लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई।
सर्वे की खामियां मढ़ रहे गरीबों के माथे
उज्ज्वला गैस योजना का लाभ नियमानुसर बीपीएल परिवारों को दिया जाना है। ऐसे में देलवाड़ा के ४६ परिवार निशुल्क कनेक्शन के दायरे में हैं। अगर सर्वे में कोई खामी हुई है तो सर्वे करने वाले जिम्मेदारों को पकडक़र उनके खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए। जबकि उसके उलट पात्र परिवारों को उनके अधिकार से वंचित किया जा रहा है।
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