प्रदेश के इस मंदिर मंडल ने की 82.62 करोड़ की बचत...पढ़ें पूरी खबर
राजसमंदPublished: Oct 02, 2023 12:14:25 pm
- श्रीनाथजी मंदिर मंडल ने वित्तीय वर्ष 2022-23 की बैलेंस शीट जारी


श्रीनाथजी मंदिर नाथद्वारा । फाईल फोटो नाथद्वारा
नाथद्वारा. श्रीनाथजी मन्दिर मण्डल नाथद्वारा की वित्तीय वर्ष 2022-23 की बेलेन्सशीट तैयार हो गई, जिसमें इस बार 82.66 करोड़ रुपए की कुल बचत रही।
नाथद्वारा मन्दिर मण्डल के वित्तीय वर्ष 2022-23 की बेलेन्सशीट तैयार की गई, जिसमें मंदिर के तिलकायत राकेश गोस्वामी एवं उनके पुत्र विशाल बावा की प्रेरणा व मन्दिर मण्डल के प्रयासों से वैष्णवों को मन्दिर में सुविधाएं प्रदान करने के सकारात्मक परिणाम आए हैं। मंदिर मंडल के मुख्य निष्पादन अधिकारी जितेन्द्र कुमार ओझा ने बताया कि वित्तीय वर्ष 2022-23 में कुल आय 165.56 करोड़ रुपए, जिसमें भेंट आय 84.99 करोड़ रुपए व अन्य आय 80.57 करोड़ रुपए रही। वहीं, कुल व्यय 82.90 करोड़ रुपए होकर बचत 82.66 करोड़ रुपए हुई है, जो अब तक की आय एवं बचत में अधिकतम है। विगत वित्तीय वर्ष 2021-22 की आय 92.22 करोड़ रुपए थी, जिसमें भेंट आय 61.39 करोड़ रुपए व अन्य आय 30.83 करोड़ रुपए रही थी। जबकि, व्यय 69.42 करोड़ रुपए हुए, जिससे कुल बचत राशि 22.80 करोड रुपए रही थी।
आयकर प्रावधान के अनुसार 15 प्रतिशत बचत का विनियोजन करते हुए मन्दिर मण्डल द्वारा 68 करोड़ रुपए का सेट अपार्ट किया गया। इसमें से आगामी 5 वर्षों में पार्किंग, धर्मशाला निर्माण, आयुर्वेद चिकित्सालय, श्रीनाथजी पुलिस थाना निर्माण, गोशाला विकास, पोरबन्दरवाली धर्मशाला पुनर्निर्माण, केशवभवन, डायाभवन धर्मशाला पुनर्निर्माण, आर्ट एवं कल्चर को प्रोत्साहन व अन्य धर्मार्थ एवं सार्वजनिक सुविधार्थ आदि कार्यों में इस राशि को व्यय किया जाएगा। उल्लेखनीय हे कि मंदिर मंडल के द्वारा आयकर प्रावधान अनुसार शहर में कई कार्य करवाए गए हैं। वहीं, आने वाले समय में इन कार्यों के हो जाने से भी काफी नवाचार होगा।
ओझा से लिया सीईओ का अतिरिक्त चार्ज
नाथद्वारा. श्रीनाथजी मंदिर मंडल के मुख्य निष्पादन अधिकारी पद पर कार्यरत जितेन्द्र ओझा से अतिरिक्त चार्ज ले लिया गया है। दो माह पूर्व उनका उदयपुर पंजीयन विभाग में स्थानांतरण हो गया था। शनिवार देर रात कार्मिक विभाग ने जारी सूची में उनसे चार्ज ले लिया। अब मुख्य निष्पादन अधिकारी का पद रिक्त हो गया है। ज्ञात हो, ओझा ने मंदिर मंडल के मुख्य निष्पादन अधिकारी के रूप में लगातार 5 वर्ष तक सेवाएं दी। सर्वाधिक लम्बा कार्यकाल उनका रहा। जल्द सम्भावित राज्य प्रशासनिक सेवा अधिकारियों की तबादला सूची में यहां नए सीईओ की नियुक्ति हो सकती है।