उल्लेखनीय है कि लोकसभा चुनाव में सपा नेता आजम खान के जीतने पर भाजपा प्रत्याशी जया प्रदा ने लाभ के पद पर रहते हुए चुनाव लड़ने का आरोप लगाते हुए उनके निर्वाचन को रद्द करने की मांग की थी। साथ ही रामपुर में फिर से लोकसभा चुनाव कराए जाने की मांग करते हुए भाजपा नेत्री जया प्रदा ने जुलाई में हाईकोर्ट में एक अर्जी भी दाखिल की थी। जया प्रदा का आरोप है कि आजम खान पहले से ही जौहर यूनिवर्सिटी में चांसलर यानी लाभ के पद पर हैं। इसलिए लाभ के पद पर रहते हुए चुनाव नहीं लड़ा जा सकता था।
इस खबर पर कमेंट करने के लिए यहां क्लिक करें भाजपा नेत्री जया प्रदा की अर्जी पर सुनवार्इ करते हुए हाईकोर्ट ने आजम खान को नोटिस भी जारी किया गया था, लेकिन आजम खान के रामपुर में नहीं होने के कारण लंबे समय तक उन्हें नोटिस तामील नहीं कराया जा सका था। इस मामले को गंभीरता से लेते हुए रामपुर के जिला न्यायाधीश से रिपोर्ट मांगी थी। अब इस मामले में हाईकोर्ट के जस्टिस एसडी सिंह की अदालत में सुनवाई के दौरान जानकारी देते हुए बताया गया कि आजम खान को हाईकोर्ट की आेर से जारी नोटिस तामील कराया जा चुका है। इस दौरान आजम खान के अधिवक्ता भी मौजूद रहे।