सरयू राय ने रविवार देर रात को पत्रकारों से बातचीत में कहा कि सुबह में उन्होंने कार्यकर्त्ताओं से रायशुमारी के बाद और उनकी भावनाओं का ख्याल रखते हुए जमशेदपुर पश्चिमी और जमशेदपुर पूर्वी विधानसभा दोनों सीटों से चुनाव लड़ने की घोषणा की थी, लेकिन जब उन्होंने विचार किया, कि दोनों सीटों पर चुनाव लड़ने से शक्तियां बंटेगी, तो उन्होंने सिर्फ और सिर्फ जमशेदपुर पूर्वी विधानसभा सीट से चुनाव लड़ने का लिया।
भाजपा द्वारा उनका टिकट काटे जाने के एक प्रश्न के उत्तर में सरयू राय ने कहा कि कुछ लोगों को लगा कि अश्वमेध यज्ञ के घोड़े की पकड़ने की कोशिश हुई, संभवतः इसी कारण केंद्रीय नेतृत्व को फैसला लेने में इतना विलंब हुआ। उन्होंने कहा कि उन्हें लगा कि अश्वमेध यज्ञ का घोड़ा पूर्वी जमशेदपुर में ही है, इसलिए उन्होंने लगाम लगाने के लिए इसी सीट पर चुनाव लड़ने का निर्णय लिया।