scriptआखिर ऐसा क्यों हुआ कि छोटी बहन की डोली उठी, बड़ी की शादी कैसिंल | After all why did it happen that the little sisters dolly was born | Patrika News

आखिर ऐसा क्यों हुआ कि छोटी बहन की डोली उठी, बड़ी की शादी कैसिंल

locationरतलामPublished: Feb 11, 2018 05:48:04 pm

Submitted by:

harinath dwivedi

जेल में बंद दूल्हे को नहीं दी पैरोल

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रतलाम/मंदसौर. शहर के वरदान नगर में दो बहनों की शादी में एक ही बहन की घर से डोली उठ सकी, जबकि बड़ी बहन का पति दहेज हत्या में जेल में बंद होने के कारण पैरोल नहीं मिलने पर उसकी शादी नहीं हो पाई। परिवार का जहां एक बेटी की शादी की खुशी थी, दूसरी का गम भी कचौट रहा था। एेसे में आखिरकार उन्होंने जैसे तैसे छोटी बेटी की डोली घर से उठाई और समाज के दस्तूर को पूरा किया। हालांकि परिवार ने दूसरे दिन पर दूल्हे हिम्मत सिंह के मंदसौर जेल से पैराल पर छुड़ाने के पूरे प्रयास किए। लेकिन वह नहीं छूट पाया। हालांकि परिवार ने दूसरे दिन पर दूल्हे हिम्मत सिंह के मंदसौर जेल से पैराल पर छुड़ाने के पूरे प्रयास किए। लेकिन वह नहीं छूट पाया।

परिजनों ने बताया कि रतलाम वरदान नगर निवासी काजल पुत्री मोहनसिंह सोलंकी की शादी दलौदा निवासी हिम्मत सिंह से तय हुई थी। शनिवार को बरबड़ मंदिर स्थित कृष्ण भवन में शादी होनी थी। लेकिन धारा ३०४ बी के तहत पुलिस ने गिरफ्तार किया था और कोर्ट ने पिछले दस दिन से जेल में भेज रखा था।

परिजनों ने काफी प्रयास किया कि उसे पैरोल मिले। लेकिन अंत तक पैरोल नहीं मिली। नतीजन शादी कैसिंल हो गई। जिस घर से दो डोली उठनी थी। वहां से छोटी बहन रूचि की ही डोली उठी। उसकी बारात दाहोद से आई थी। परिजनों ने शुक्रवार को जिला कलेक्टर को भी आवेदन देकर पैरोल पर रिहाई देने की अनुमति प्रदान करने गुजारिश की थी। लेकिन वहां से भी राहत नहीं मिली।

क्षेत्राधिकार में नहीं : विचाराधीन कैदी है, इसलिए इंदौर हाईकोर्ट से ही पैरोल दी जाएगी। न्यायालय से अर्जी खारिज हो गई है। – ओमप्रकाश श्रीवास्तव, कलेक्टर मंदसौर


पैरोल का नहीं मिला आदेश : सुनिल शर्मा ने कहा कि रात नौ बजे तक कोई आदेश नहीं आया कि हिम्मत ङ्क्षसह को पैरोल पर छोड़ा जाए। अभी वह जेल में बंद है। – सुनील शर्मा, जेल अधीक्षक मंदसौर
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