रतलामPublished: Oct 17, 2023 10:38:17 pm
Gourishankar Jodha
रतलाम। आचार्यश्री विजय कुलबोधि सूरीश्वर महाराज के शिष्य मुनिराज ज्ञानबोधि विजय महाराज ने सैलाना वालों की हवेली मोहन टॉकीज में हुए प्रवचन में पांच प्रकार के परोपकार का वर्णन करते हुए कहा कि जीवन में पांच तरह के परोपकार यदि आप करते है तो उसका लाभ हमेशा मिलता है। इनमें चार परोपकार दंड, ध्वजा की तरह होते है। जबकि पांचवां परोपकार इन सबसे अलग है।