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हत्यारे पति को आजीवन कारावास, सहयोगी ससुर को पांच साल की कठोर सजा

locationरतलामPublished: Feb 27, 2021 06:38:45 pm

Submitted by:

Ashish Pathak

चरित्र शंका में पति ने की थी पत्नी की हत्या और उसके पिता ने शव ठिकाने लगाने में की थी हत्यारे बेटे की मदद

The murderer killed five birds before killing the warts

The murderer killed five birds before killing the warts

रतलाम. चरित्र शंका में पत्नी की गला घोंटकर हत्या करने वाले हत्यारे पति को अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश दयाराम कुमरे की कोर्ट ने आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। उसके इस कार्य में सहयोग करते हुए लाश को ठिकाने लगाने में मदद करने वाले हत्यारे पति के पिता को भी कोर्ट ने सहयोगी मानते हुए उसे भी पांच साल के कठोर कारावास की सजा सुनाई है। शातिर पति ने पत्नी की हत्या करने के बाद उसकी गुमशुदगी की रिपोर्ट भी पुलिस में दर्ज कराते हुए गुमराह किया था। मामला आलोट पुलिस थाना क्षेत्र के दशहरा मैदान क्षेत्र में तीन साल पहले हुई एक महिला की हत्या का है। प्रकरण की पैरवी अपर लोक अभियोजक हेमेंद्र कुमार गोयल ने की।
पति ने लिखाई थी पत्नी की गुमशुदगी
अभियोजन मीडिया सेल प्रभारी शिव मनावरे ने बताया कि घटना 16 जनवरी 2018 को कय्यूम पिता नबी खां 24 निवासी दशहरा मैदान विक्रमगढ आलोट ने थाना आलोट पर अपनी पत्नी शकीला के गुमशुदा होने की रिपोर्ट दर्ज करवाई थी। कय्यूम के बताए अनुसार उसकी पत्नी शकीला की खोजबीन और उसे ढूंढने का कार्य प्रारंभ किया गया। इस दौरान 19 जनवरी 2018 को पुलिस को शंका होने पर शकीला के पति कय्यूम से कडी पूछताछ शुरू की तो उसने राज उगल दिया। उसने पुलिस को बताया कि चरित्र शंका को लेकर 15 जनवरी 2018 को रात्रि 11-12 बजे के बीच घर के अंदर उसने शकीला को गला दबाकर मार डाला। इसके बाद पिता के साथ मिलकर लाश को ठिकाने लगाने की योजना बनाकर उसे दूधिया रोड पर एक खेत के पास उसे गाढ़ दिया था।
पिता ने लगवाई था लाश ठिकाने
कय्यूम ने पुलिस को बताया कि यह बात उसने अपने पिता नबी खां को बताई तो वे बोले कि घबराने की जरूरत नहीं है। शकीला की लाश कही छुपा देते हैं। इसके बाद शकीला के शव को काले कम्‍बल के अंदर लपेटकर उपर से रस्‍सी से बांध दिया। फिर पिता ने शकीला के शव को अपने कंधे पर उठाया और घर के अंदर से लोहे की सब्‍बल लेकर घर की लाइटें बंद करके शकीला की लाश को ठिकाने लगाने निकले। आधे रास्‍ते मे जाकर पिता से शकीला की लाश मैंने अपने कंधे पर उठाई और पिता को सब्‍बल दी। दुधिया रोड शमशान के पास अमजद मेव के खेत के पास नाले मे मैंने और मेरे पिता ने सब्‍बल से गड्डा खोदकर उसमें शकीला के शव को गाढ़कर छुपा दिया।
शव निकलवाकर कराया पोस्टमार्टम
इस जानकारी पर पुलिस ने आरोपियों के बताए स्थान से शकीला का शव खुदवाकर निकलवाया गया। पंचनामा बनाकर मर्ग दर्ज किया और फिर मृतका शकीला के शव का पोस्‍टमार्टम करवाया गया। पोस्‍टमार्टम रिपोर्ट में भी मृतका शकीला की मृत्‍यु गला घोंटने से सांस रूकने के कारण होना पाई गई थी। दोनों आरोपियों के विरूद्ध अभियोग पत्र तैयार कर न्‍यायालय में प्रस्‍तुत किया गया। न्यायालय ने आरोपियों को दोषसिद्ध पाते हुए धारा 302 में कय्यूम को सश्रम आजीवन कारावास एवं दस हजार रुपए अर्थंदंड तथा पत्नी की लाश छिपाने के अपराध में धारा 201 में 5 वर्ष का सश्रम कारावास एवं पांच हजार रुपए अर्थदंड तथा अभियुक्‍त नबी खां को अपनी बहू की लाश छुपाने में सहयोग करने में धारा 201 भादवि में पांच वर्ष का सश्रम कारावास एवं पांच हजार अर्थदंड से दंडित किया गया।
Court verdict on heinous murder
IMAGE CREDIT: patrika

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