बड़ी बात यह है स्वयं सहायता समूह की महिलाओं द्वारा अपने घर पर ही मास्क तैयार किए गए और जनपदों से मिले आर्डर पर ग्राम पंचायतों को सप्लाई किया। ग्राम पंचायतों द्वारा मनरेगा कार्यों में लगे श्रमिकों को मास्क उपलब्ध कराए गए तथा चालानी कार्रवाई के दौरान भी ग्रामीणों को मास्क प्रदान किए गए। मास्क विक्रय का कार्य जिले की बाजना, जावरा, पिपलोदा जनपद पंचायतों की महिलाओं द्वारा किया गया। उक्त जनपद पंचायतों के विभिन्न ग्रामों की रहवासी महिलाओं ने 10 रुपए प्रति मास्क की दर से पंचायतों को विक्रय किया। इससे महिलाओं की आर्थिक स्थिति मजबूत हुई, उनके परिवार को सहारा मिला तथा जीवन में आगे बढऩे का हौसला भी महिलाओं को मिला है। अब वे नए आत्मविश्वास के साथ जीवन में आगे बढऩे एवं और अच्छा कर गुजरने के लिए उत्साहित है।
आदिवासी क्षेत्र ग्राम रावटी की रहने वाली श्यामा जो कि लक्ष्मी स्वयं सहायता समूह से जुड़ी हुई है, उनका कहना है कि कोरोना काल में आर्थिक तंगी के दौरान मास्क विक्रय से हमें अपने परिवार और घर गृहस्थी के संचालन में परेशानी नहीं आई हमें पर्याप्त राशि मिली है। श्यामा ने अपने घर पर ही तैयार करके 3 हजार मास्क विक्रय किए हैं। इससे 3 हजार रूपए की आमदनी श्यामाबाई को मिली है। ऐसे अनेक उदाहरण स्वयं सहायता समूह से जुड़ी महिलाओं के है जिन्हे आर्थिक तंगी में मास्क विक्रय से सहारा मिला है। जिले के 64 स्वयं सहायता समूह से जुड़ी 117 महिलाओं ने मास्क बेचकर अच्छी आमदनी प्राप्त की है।
Corona virus Special reports” src=”https://new-img.patrika.com/upload/2020/12/21/ff_6976507-m.png”>फैक्ट फाइल
यहां की महिलाओं ने की कमाई
विकासखंड – समूह व महिलाओं की संख्या
बाजना विकासखंड – 17 समूहों की 45 महिलाएं
पिपलोदा विकासखंड – 20 समूहों की 33 महिलाएं
जावरा विकासखंड – 27 स्वयं सहायता समूह की 39 महिलाएं
यहां की महिलाओं ने की कमाई
विकासखंड – समूह व महिलाओं की संख्या
बाजना विकासखंड – 17 समूहों की 45 महिलाएं
पिपलोदा विकासखंड – 20 समूहों की 33 महिलाएं
जावरा विकासखंड – 27 स्वयं सहायता समूह की 39 महिलाएं
इन्होंने उदाहरण प्रस्तुत किया है
यह महिलाएं छोटे छोटे गांव की है। इन्होंने एक आदर्ष व उदाहरण प्रस्तुत किया है कि अगर कुछ करने की ठान ली जाए तो कुछ भी असंभव नहीं है। इनसे प्रेरणा लेने की जरुरत है।
मीनाक्षी सिंह, मुख्य कार्यपालन अधिकारी, जिला पंचायत
यह महिलाएं छोटे छोटे गांव की है। इन्होंने एक आदर्ष व उदाहरण प्रस्तुत किया है कि अगर कुछ करने की ठान ली जाए तो कुछ भी असंभव नहीं है। इनसे प्रेरणा लेने की जरुरत है।
मीनाक्षी सिंह, मुख्य कार्यपालन अधिकारी, जिला पंचायत