जिला विधिक सहायता केन्द्र द्वारा शनिवार को सुबह 10 बजे न्यायालय परिसर में लोक अदालत का आयोजन किया गया। जिसमें बिजली कंपनी, नगरपालिका के साथ ही आपसी विवाद, मोटर दुर्घटना संबंधी मामलों में आपसी समझोते के आधार पर प्रकरणो का निराकरण किया गया। एडीजे ओपी बोहरा ने बताया कि लोक अदालत के तहत 102 हितग्राही लाभान्वित हुए।
आलोट में शनिवार को न्यायालय आलोट मे नेशनल लोक अदालत आयोजित की गई । जिसका शुभारंभ तहसील विधिक सेवा समिति अध्यक्ष एवं अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश वंदन मेहता, व्यवहार न्यायाधीश विक्रमसिंह डावर तथा अभिभाषक संघ के अध्यक्ष प्रहलादसिंह परिहार व्दारा किया गया । लोक अदालत में अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश वंदन मेहता के न्यायालय में कुल 115 प्रकरण रखे गए जिनमें 11 क्लेम व एक अन्य प्रकरण में 40,06,694 रुपए के अवार्ड पारित किए गए, एवं 4 प्रकरणों में राजीनामा आधार पर निराकरण किया गया, तथा बैंक व विद्युत के प्रिलिटिगेशन के 136 प्रकरण रखे गए थे, जिनमें 6 प्रकरण मे 91 हजार रुपए की वसूली की गई। इसी प्रकार न्यायाधीश विक्रमसिंह डावर की न्यायालय में कुल 110 प्रकरण सिविल व 227 प्रकरण क्रिमिनल के राजीनामा हेतु रखे गए थे, जिनमे 6 सिविल व धारा 138 पराक्रम लिखित अधिनियम के मामलों मे 89200 रुपए की वसूली हुई। 6 क्रिमिनल के मामलों का राजीनामा के आधार पर निपटारा किया गया । लोक अदालत में अशोक भण्डारी, मोहनलाल व्यास, शिवनारायण सोलंकी, कन्हैयालाल संकरवशी, विमल एफ जैन, प्रदीप भटनागर, लुकमान मेव, सईद खान, जाहिदखान मुल्तानी, गोविंदलाल गोयल, मनीष फरक्या, एस वर्मा आदि अभिभाषक उपस्थित थे ।
आलोट में शनिवार को न्यायालय आलोट मे नेशनल लोक अदालत आयोजित की गई । जिसका शुभारंभ तहसील विधिक सेवा समिति अध्यक्ष एवं अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश वंदन मेहता, व्यवहार न्यायाधीश विक्रमसिंह डावर तथा अभिभाषक संघ के अध्यक्ष प्रहलादसिंह परिहार व्दारा किया गया । लोक अदालत में अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश वंदन मेहता के न्यायालय में कुल 115 प्रकरण रखे गए जिनमें 11 क्लेम व एक अन्य प्रकरण में 40,06,694 रुपए के अवार्ड पारित किए गए, एवं 4 प्रकरणों में राजीनामा आधार पर निराकरण किया गया, तथा बैंक व विद्युत के प्रिलिटिगेशन के 136 प्रकरण रखे गए थे, जिनमें 6 प्रकरण मे 91 हजार रुपए की वसूली की गई। इसी प्रकार न्यायाधीश विक्रमसिंह डावर की न्यायालय में कुल 110 प्रकरण सिविल व 227 प्रकरण क्रिमिनल के राजीनामा हेतु रखे गए थे, जिनमे 6 सिविल व धारा 138 पराक्रम लिखित अधिनियम के मामलों मे 89200 रुपए की वसूली हुई। 6 क्रिमिनल के मामलों का राजीनामा के आधार पर निपटारा किया गया । लोक अदालत में अशोक भण्डारी, मोहनलाल व्यास, शिवनारायण सोलंकी, कन्हैयालाल संकरवशी, विमल एफ जैन, प्रदीप भटनागर, लुकमान मेव, सईद खान, जाहिदखान मुल्तानी, गोविंदलाल गोयल, मनीष फरक्या, एस वर्मा आदि अभिभाषक उपस्थित थे ।