जिले की छह नर्सरियां
उल्लेखनीय है कि उद्यानिकी विभाग के कर्मचारियों की माने तो १० साल पूर्व ५-७ लाख रुपए करीब प्रति नर्सरी विभागीय आय होती थी, लाखों पौधे तैयार होते थे और किसान यहां से लेकर भी जाते थे। अब जो किसान पौधे लगाना चाहता नर्सरियों पर जैसे वीएनआर अमरूद, एप्पल बेर, सीताफल एनआरसी, गोल्डन आदि वैरायटियां उपलब्ध नहीं होती। जिले में डोसीगांव, आम्बा, शिवगढ़, रावटी, जावरा, ताल ने उद्यान विभाग की नर्सरियां है।
प्रत्येक नर्सरी पर 1 लाख
प्रत्येक नर्सरी पर 1 लाख पौधे तैयार करने का लक्ष्य निर्धारित किया है। इसमें कलमी और फूलों के पौधे भी तैयार किए जाएंगे, ताकि नर्सरियों की दशा सुधरे और किसानों को अच्छी वैराटियों के पौधे उपलब्ध करा सके।
पी. कनेल
उपसंचालक उद्यानिकी, रतलाम