वैकल्पिक मार्ग नहीं बनाया
सड़क बनाने वाली कंपनी ने एक साइड की सीमेंट कांक्रीट की रोड बना दी लेकिन दूसरी तरफ से वाहनों की आवाजाही के लिए कोई वैकल्पिक मार्ग की व्यवस्था नहीं की। जो पुरानी सड़क है उस पर भी गिट्टी और मटेरियल पड़ा होने से बड़ी मुश्किल से वाहन निकल रहे थे। गुरुवार को दो वाहन आमन-सामने आकर खड़े हो गए। इस क्षेत्र से निकल रहे अभाविप के उपेंद्रसिंह तोमर, शुभम चौहान और उनके साथियों ने बताया दोनो में से कोई भी पीछे हटने को तैयार नहीं थे। आधे घंटे में ही यहां दोनों तरफ करीब पांच सौ से ज्यादा दो पहिया और चार पहिया वाहन जमा हो गए। बड़ी मुश्किल से एक को थोड़ा पीछे किया तब रास्ता साफ हुआ।
अधिकारियों की उदासीनता
बाजना बस स्टैंड से वरोठ माता मंदिर तक बन रहे सिटी फोरलेन को लेकर शुरुआत से ही विवाद की स्थिति बनी जिसमें विभागीय अधिकारियों की लापरवाही और उदासीनता साफ तौर पर दिखाई दी। सिटी फोरलेन निर्माण के लिए जो परेशानियां सामने आ रही है वह इन्हीं वजहों से है कि अधिकारियों ने इस मार्ग को उपेक्षित छोड़कर केवल निर्माण करने वाली कंपनी के भरोसे ही पूरी यातायात व्यवस्था छोड़ दी। नियम कहते हैं कि कहीं सड़क का निर्माण होता है तो उस मार्ग पर यातायात व्यवस्थित रखने के लिए वैकल्पिक मार्ग की व्यवस्था करना जरुरी होता है। इस तरफ अधिकारियों ने कोई ध्यान नहीं दिया जिससे आए दिन यहां इस तरह के हालात बन रहे हैं।