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पीएम आवास घोटाला, सीएमओ आरती गरवाल पर गिरी निलंबन की गाज

locationरतलामPublished: Aug 16, 2022 08:53:31 pm

Submitted by:

Kamal Singh

इस समय मल्हारगढ़ में सीएमओ है गरवाल, प्रधानमंंत्री आवास योजना के नक्शे बनाने वाला कंसलटेंट को ब्लैक लिस्टेड करने के भी निर्देश

पीएम आवास घोटाला,  सीएमओ आरती गरवाल पर गिरी निलंबन की गाज

पीएम आवास घोटाला, सीएमओ आरती गरवाल पर गिरी निलंबन की गाज

रतलाम. नगरीय प्रशासन विकास विभाग ने पिपलौदा नगर पंचायत की तत्कालीन मुख्य नपं अधिकारी (सीएमओ) आरती गरवाल को निलंबित कर दिया है। नगर परिषद के ही एक कन्सलटेंट को ब्लैक लिस्टेड करने के भी आदेश दिए हैं। इन दोनों पर प्रधानमंत्री आवास योजना के हितग्राहियों के नक्शे बनाने में अवैध वसूली मामले सामने में हुई शिकायत की जांच में तथ्य सही पाए जाने पर यह कार्रवाई की गई है। पिपलौदा तहसीलदार की जांच रिपोर्ट व कलेक्टर के प्रतिवेदन पर नगरीय प्रशासन एवं विकास विभाग ने निलंबन की कार्रवाई की है। वर्तमान समय में गरवाल मल्हारगढ़ नपं में सीएमओ के पद पर कार्यरत हैं।
उज्जैन किया मुख्यालय
प्रकरण की जांच के बाद कलेक्टर की और नगरीय प्रशासन विकास विभाग को भेजे गए प्रतिवेदन के आधार पर सह आयुक्त निकुंज कुमार श्रीवास्तव ने मुख्य नगर पालिका अधिकारी नगर परिषद पिपलौदा द्वारा अनियमितता करने, पदीय कत्र्तव्यों का समयक निर्वहन नहींं करने के कारण म.प्र.न.पा.अधि. 1961 की धारा 86 म.प्र. सिविल सेवा (वर्गीकरण नियत्रंण तथा अपील) नियम 1961 तथा मप्रनपा सेवा (कार्यपालन) नियम 1973 के नियम 36 के तहत तत्काल प्रभाव से निलंबित किया है। निलंबन अवधि में श्रीमती गरवाल का मुख्यालय संभागीय कार्यालय उज्जैन रहेगा।
इन्होंने यह की थी गड़बड़ी
– पिपलौदा नपं क्षेत्र 360 हितग्राहियों का भवन अनुज्ञा शुल्क माफ किए जाने के मामले में नगर परिषद ने संकल्प पारित किया था। मगर सीएमओ गरवाल ने इस मामले में रुचि नहीं दिखाई।
– निकाय में भवन अनुज्ञा के लिए अधिकृत रूप से तीन कन्सलटेंट नियुक्त किए थे। इनमें विशाल, जावेद खान और अब्दुल रजाक शामिल है। अब्दुल रजाक ने हितग्राहियों से 4000-4000 हजार रुपए वसूले थे।
– अवैध वसूली के मामले की शिकायत के बाद अब्दुल रज्जाक ने खुद इस बात की पुष्ठि भी की थी। जांच में पाया गया कि रजाक कन्सलटेंट था नगर निकाय का कर्मचारी नहीं है। बाद में अब्दुल रजाक ने राशि हितग्राहियों को वापस कर दी।
– तहसीलदार पिपलौदा के प्रतिवेदन में भी स्पष्ठ हुआ है कि इस पूरे प्रकरण में अब्दुल रजाक व सीएमओ आरती गरवाल संयुक्त रूप से दोषी है। ऐसे में गरवाल को निलंबित कर अब्दुल रज्जाक का नाम ब्लैक लिस्ट में डाला जाना चाहिए।
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