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इस बीमारी ने स्वास्थ्य विभाग की उड़ाई नींद, गांवों में लगाना पड़ रही है दौड़

locationरतलामPublished: Sep 26, 2018 11:24:04 am

Submitted by:

harinath dwivedi

इस बीमारी ने स्वास्थ्य विभाग की उड़ाई नींद, गांवों में लगाना पड़ रही है दौड़

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इस बीमारी ने स्वास्थ्य विभाग की उड़ाई नींद, गांवों में लगाना पड़ रही है दौड़

रतलाम। मंदसौर जिले की सीमा से लगे रतलाम जिले के आठ गांवों में स्क्रब टाइफस जैसी घातक बीमारी से प्रभावित होने की पुष्टि भोपाल से आए कीट वैज्ञानिक डॉ. शैलेंद्रकुमार सिंह ने की है। सोमवार से रतलाम जिले में इस बीमारी के होने के कारणों की खोजबीन करने आए डॉ. सिंह ने दो दिन में जिले के जावरा, पिपलौदा और आलोट विकासखंड के आठ गांवों के प्रभावित होने की पुष्टि की है। इन प्रभावित गांवों में प्रभावित लोगों के यहां चूहा पकडऩे वाले ट्रेप लगाए गए हैं। पहले दो दिन में दल ने सर्वे के दौरान आधा दर्जन घरों से चूहे पकडऩे में कामयाबी पाई है। इन चूहों को टीम रतलाम ले आई है।
एक महिला की मौत हो चुकी

विभागीय सर्वे के दौरान जो जानकारी सामने आई है उसके अनुसार स्क्रब टाइफस नामक बीमारी से बरखेड़ी में एक महिला की मौत पिछले माह की ३० तारीख को हो चुकी है। महिला को बीमार होने पर परिजन उसे पहले स्थानीय डॉक्टर को दिखाया और बाद में उदयपुर ले गए थे जहां उसकी मौत हो गई है। महिला की उम्र ३२ साल बताई गई है। मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी कार्यालय के एपिडिमियोलॉजिस्ट डॉ. प्रमोद के अनुसार महिला की मौत की पुष्टि हो गई है कि उसकी मौत स्क्रब टाइफस से ही हुई है।
ये गांव हैं प्रभावित

जिले के तीन विकासखंडों के जिन आठ गांवों में स्क्रब टाइफस बीमारी फैली है वे सभी गांव लगभग मंदसौर जिले की सीमा से लगे हैं या इन गांवों के लोगों का मंदसौर जिले से सीधा संपर्क है। इनमें पिपलौदा विकासखंड के पिंगराला, बरखेड़ी, चिकलाना, जावरा के कांकरवा बालाजी, रिंगनौद चौकी, पिपलिया जोधा और आलोट विकासखंड के बरखेड़ा कला गांव शामिल हैं। कीट वैज्ञानिक डॉ. सिंह ने सभी प्रभावित व्यक्तियों से चर्चा कर बीमारी के बारे में जानकारी ली। बीमारों के शरी पर चकते भी पाए गए।
पांच जिंदा चूहे पकड़़े

कीट वैज्ञानिक डॉ. सिंह ने बताया प्रभावित गांवों और प्रभावित परिवारों के यहां चूहे पकडऩे के ट्रेप लगाए गए थे। इनमें से पांच जगह चूहे पकड़ लिए गए हैं। विभाग ने सर्वे किया है जहां बीमार लोगों से उसके लक्षण के बारे में भी चर्चा की गई। पकड़कर लाए गए सभी चूहों का पोस्मार्टम करके इनका रक्त और अन्य अंग नेशनल सेंटर फार डिसिज कंट्रोल नई दिल्ली (एनसीटीसी) भेजा जाएगा। वहां इसकी गहनता से जांच होगी जिससे पता चल सकेगा कि बीमारी फैलने की मुख्य वजह क्या और कौन से कीट हैं।
चूहों का पोस्टमार्टम करके जांच कराएं

स्क्रब टाइफस नामक बीमारी के फैलने की वजह चूहे माने जा रहे हैं। हमने प्रभावित लोगों के घरों से पांच चूहे पकड़े हैं। इनका पोस्टमार्टम करके उनका विसरा और रक्त एनसीटीसी भेजा जाएगा। वहां से कंफर्म होगा कि स्क्रब टाइफस फैलने की असली वजह क्या है।
डॉ. शैलेंद्रकुमार सिंह, कीट वैज्ञानिक, भोपाल

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