योग:
शिव नामक योग रात्रि 12.57 तक, इसके बाद सिद्ध नामक योग रहेगा। दोनों ही नैसर्गिक शुभ योग है। विशिष्ट योग: सूर्योदय से रात्रि 12.38 तक सर्वार्थसिद्धि व रवियोग नामक शक्तिशाली शुभ योग है। इसके बाद अंतरात्रि 5.12 से पुन: रवियोग नामक योग प्रारम्भ हो जाएगा। दोनों ही योग शुभ व सिद्धि दायक है। करण: तैतिल नामकरण दोपहर बाद 1.06 तक, इसके बाद गरादि करण है।
शुभ मुहूर्त:
उपर्युक्त शुभाशुभ समय, तिथि, वार, नक्षत्र व योगानुसार आज अश्विनी नक्षत्र में प्रसूतिस्नान, नामकरण, अन्नप्राशन, हलप्रवहण तथा विपणि-व्यापारारम्भ के यथा आवश्यक शुभ मुहूर्त है।
राहुकाल:
दोपहर बाद 1.30 से अपराह्न 3.00 बजे तक राहुकाल वेला में शुभकार्यारंभ यथासंभव वर्जित रखना हितकर है।
आज जन्म लेने वाले बच्चे
आज जन्म लेने वाले बच्चों के नाम (चू,चे,चो,ला,लि) आदि अक्षरों पर रखे जा सकते हैं। इनकी जन्म राशि मेष है तथा जन्म स्वर्णपाद से है। सामान्यत: ये जातक धनवान, प्रतिभावान, धर्म कार्यों के ज्ञाता, परोपकारी, हंसमुख, सुंदर, बुद्धिमान, अच्छी पौशाक व आभूषण पहनने के शौकीन, यशस्वी, स्पष्ट वक्ता, वाहन व नौकर आदि के सुखभोक्ता होते हैं। इनका भाग्योदय लगभग 20 वर्ष की आयु तक हो जाता है। मेष राशि वाले जातकों के नये मित्र बनेंगे। विद्यार्थी वर्ग को प्रायोगिक परीक्षाओं, प्रतियोगिता व साक्षात्कार आदि में पूर्ण सफलता प्राप्त होगी।