मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने विश्वविद्यालयों में आनंद विभाग की स्थापना की योजना बनाई। योजना पर अमल करते हुए उच्च शिक्षा विभाग ने निर्देश भी जारी किए। निर्देश के अनुपालन में अवधेश प्रताप सिंह विश्वविद्यालय ने विभाग की स्थापना करने की घोषणा करते हुए करीब साढ़े पांच करोड़ रुपए के बजट प्रस्तावभी तैयार कर लिया। महीनों पहले मंजूरी के लिए प्रस्ताव विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) भेजा गया। लेकिन अभी तक यूजीसी से हरीझंडी मिलने की बात तो दूर वहां से कोई जवाब तक नहीं आया। गौरतलब है कि विवि प्रशासन ने दर्शन विभाग को आनंद विभाग की जिम्मेदारी दी है।
राज्य शासन ने विश्वविद्यालयों में आनंद विभाग की स्थापना की योजना तो बना ली। लेकिन कोई वित्तीय मदद की व्यवस्था नहीं बनाई। सितंबर में एक कार्यक्रम में शामिल होने आए मुख्यमंत्री से अपील भी की गई थी।लेकिन नतीजा सिफर रहा है। पाठ्यक्रम रोजगारपरक नहीं है। इसलिए स्ववित्तीय पाठ्यक्रम के रूप में भी इसकी शुरुआत संभव नहीं हो पा रही है।
यूजीसी की बरुखी से विभाग की शुरुआत नहीं हो पा रही है। इस स्थिति में अधिकारियों को यह भय सता रहा है कि कहीं एपीएस से विभाग को शुरू करने वाले पहले विश्वविद्यालय का तमगा न छिन जाए।गौरतलब है कि विभाग के स्थापना की घोषणा करने और यूजीसी को प्रस्ताव भेजने वाला एपीएस प्रदेश का पहला विश्वविद्यालय है।