कलेक्टर ने पुलिस अधीक्षक को आवश्यक कार्यवाही के लिए लिखा है। जनपद पंचायत गंगेव के ग्राम गढ़ा, सिरसा के संतू रावत ने आवेदन दिया कि वह टेण्ट एवं डेकोरेशन का व्यवसाय प्रारंभ करने के लिए जिला उद्योग के माध्यम से मनगवां के यूनियन बैंक से ऋण प्रकरण स्वीकृत कराया है। बैंक ने ऋण राशि के अधिकांश भाग का भुगतान कर दिया है। लेकिन शाखा प्रबंधक ने ऋण राशि में से 5 लाख रुपए रोक लिए हैं। प्रबंधक द्वारा कहा गया कि जब अंतिम किस्त का भुगतान करना होगा तो दूरभाष से सूचना मिलेगी। लेकिन आज दिनांक तक ऋण राशि का भुगतान नही किया जा रहा। कलेक्टर ने जिला उद्योग विभाग के महाप्रबंधक को आवश्यक कार्यवाही के लिए लिखा है। ग्राम कुल्लू की गीता साकेत, जीतेन्द्र कोल ने आवेदन दिया कि हरिजन बस्ती में शासकीय माध्यमिक शाला के पास रहती हैं। घर से निकलने के लिए आम रास्ता नहीं है, स्थल निरीक्षण
कराकर रास्ता दिलवाया जाय।
कठहाई ग्राम की संगीता देवी विश्वकर्मा ने आवेदन दिया कि घर से बाहर निकलने में आम रास्ता को ग्राम के सरहंग पुष्पराज तिवारी द्वारा कब्जा कर रोक दिया गया है। जवा जनपद के लफदा ग्राम के श्यामलाल चर्मकार ने आवेदन दिया कि पुस्तैनी मकान को गिराकर उसमें प्रधानमंत्री आवास का निर्माण कर रहा हूं। हमारे विरूद्ध परिजनों द्वारा तहसीलदार को आवेदन देकर 28 मई 2001 को स्थगन ले लिया गया। इसके बाद पटवारी प्रतिवेदन के आधार पर तहसीलदार द्वारा 28 जुलाई को विधिवत आदेश कर स्थगन निरस्त किया गया। उसके बाद मेरा मकान छत स्तर तक बन गया। जब छत की लकड़ी लग गयी तब तहसीलदार द्वारा उसी जमीन पर फिर से स्थगन आदेश जारी किया गया है। उपरोक्त स्थगन आदेश को निरस्त कराया जाय और आवास पूर्ण कराने की अनुमति दी जाय। भूमि के विवाद से जुड़े कई मामले जनसुनवाई में आए।
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कोरोना की जांच नहीं कराने वालों पर कार्रवाई हो
कराकर रास्ता दिलवाया जाय।
कठहाई ग्राम की संगीता देवी विश्वकर्मा ने आवेदन दिया कि घर से बाहर निकलने में आम रास्ता को ग्राम के सरहंग पुष्पराज तिवारी द्वारा कब्जा कर रोक दिया गया है। जवा जनपद के लफदा ग्राम के श्यामलाल चर्मकार ने आवेदन दिया कि पुस्तैनी मकान को गिराकर उसमें प्रधानमंत्री आवास का निर्माण कर रहा हूं। हमारे विरूद्ध परिजनों द्वारा तहसीलदार को आवेदन देकर 28 मई 2001 को स्थगन ले लिया गया। इसके बाद पटवारी प्रतिवेदन के आधार पर तहसीलदार द्वारा 28 जुलाई को विधिवत आदेश कर स्थगन निरस्त किया गया। उसके बाद मेरा मकान छत स्तर तक बन गया। जब छत की लकड़ी लग गयी तब तहसीलदार द्वारा उसी जमीन पर फिर से स्थगन आदेश जारी किया गया है। उपरोक्त स्थगन आदेश को निरस्त कराया जाय और आवास पूर्ण कराने की अनुमति दी जाय। भूमि के विवाद से जुड़े कई मामले जनसुनवाई में आए।
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कोरोना की जांच नहीं कराने वालों पर कार्रवाई हो
जनसुनवाई में शहर के नजदीक गड़रिया गांव के दिनकर प्रसाद पाण्डेय भी शिकायत लेकर पहुंचे। इनका आरोप था कि भाई प्रदीप कुमार पाण्डेय की मौत कोरोना संक्रमण के चलते हुई। सीटी स्केन की रिपोर्ट में सारे लक्षण पाए भी गए थे लेकिन चिकित्सकों ने कोरोना पाजिटिव नहीं बताया। मौत के बाद शव प्रशासन ने परिवार को सौंप दिया था, अंतिम संस्कार के बाद परिवार के कई लोग संक्रमित हो गए थे। अब संजयगांधी अस्पताल का प्रबंधन यह बताने को तैयार नहीं है कि कोरोना की जांच कराई गई थी अथवा नहीं। बीते दो मई को जब कोरोना पीक पर था, उसी समय अस्पताल में भर्ती कराया था, उस दौरान सभी मरीजों की कोरोना जांच के बाद उपचार शुरू किया जाता था लेकिन उनके भाई का नहीं किया गया। कलेक्टर ने जांच का आश्वासन दिया है।