सोमवार को संजय गांधी हॉस्पिटल की ओपीडी में 2400 से अधिक मरीजों का पंजीयन हुआ। सुबह सात बजे से लेकर दोपहर 12 बजे तक काउंटर पर पर्ची के लिए मरीजों की भीड़ लगी रही। दोपहर बाद साढ़े तीन बजे तक आकस्मिक चिकित्सा काउंटर पर कतार लगी रही।
दवा काउंटर पर मरीज परेशान रहे। बुजुर्ग महिला फूलकली ने कर्मचारियों से कहा, दादू सीधी से आयी हूं, दो घंटे डॉक्टर को दिखाने के लिए परेशान रहे और ढाई घंटे से पुतऊ दवा के लिए कतार में खड़ी है। इसी तरह हनुमना के हाटा के बुजुर्ग शिवकरन ङ्क्षसह नाती को लेकर पर्ची के लिए आठ बजे से कतार में खड़े रहे, 10.30 बजे पर्ची मिलने के बाद डॉक्टर के चेंबर में 12.20 बजे पहुंचे। इसके बाद वह दवा काउंटर पर 1.30 बजे तक कतार के बाहर खड़े रहे। 2.20 बजे भीड़ कम होने के बाद जैसे-तैसे दवा मिली। इसी तरह सैकड़ों मरीज इलाज के लिए जद्दो-जहद करते रहे। कई मरीज बगैर दवा के बैरंग लौट गए।
ओपीडी के दवा काउंटर पर महिला और पुरुष काउंटर पर लंबी कतार लगी रही। महिला काउंटर की खिडक़ी पर सुरक्षाकर्मी ऊपर चढक़र बैठा रहा। कई महिलाओं ने गार्ड की हरकत को लेकर आक्रोश जताया। महिला काउंटर पर गार्ड के पास कई पुरुष खड़े रहे।
संजय गांधी अस्पताल के आकस्मिक चिकित्सा काउंटर पर कतार के बाहर से पर्ची लिए जाने को लेकर मरीजों ने हंगामा कर दिया। कुछ युवा बाहर से पर्ची ले रहे थे, कतार में खड़े मरीजों ने विरोध किया तो युवक झगड़े पर अमादा हो गए। सुरक्षाकर्मी तमाशबीन बना रहा।
दस बजे से दवा के लिए काउंटर पर खड़ी हूं। डेढ़ बजे के बाद भी दवा नहीं मिली है। खड़े-खड़े हाथ पैर दर्द करने लगा है।
रामकली, छिजवार
मां की दवा के लिए सुबह सात बजे से आयी हूं। इलाज से लेकर दवा मिलने तक में एक बज गए। भीड़ ज्यादा है, अव्यवस्था के कारण दिक्कत हुई।
शंकुतला पटेल, बघौर