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शिक्षकों के अनिवार्य सेवानिवृत्त पर शिक्षकों ने जलाई प्रतियां, सरकार ने उठाया सख्त कदम जानिए क्या

locationरीवाPublished: Dec 05, 2019 11:21:45 am

Submitted by:

Lokmani shukla

राज्य शिक्षक व अध्यपाक संघ ने एसडीएम को ज्ञापन देकर शिक्षकों बहाल करने का मांग की है साथ ही शाम को जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय के सामने आदेश की प्रतियां जलाकर विरोध दर्ज कराया है। इस पर लोक शिक्षण आयुक्त ने डीइओ ने उन शिक्षकों की सूची मांगी है। जिन्होंने आदेश का प्रतियां जलाई है।

Teachers burn copies on compulsory retiring of teachers, government takes strict steps

Teachers burn copies on compulsory retiring of teachers, government takes strict steps

रीवा। दक्षता परीक्षा में नकल के बावजूद अनुर्तीण रहे 16 शिक्षकों को सरकार ने अनिवार्य सेवानिवृत्ति दे दी है। इनमें विंध्य में 13 शिक्षक शामिल है। इनमें रीवा के चार शिक्षक शामिल है। इसे लेकर सोमवार को शिक्षकों संघ ने आपत्ति जताई है। राज्य शिक्षक व अध्यपाक संघ ने एसडीएम को ज्ञापन देकर शिक्षकों बहाल करने का मांग की है साथ ही शाम को जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय के सामने आदेश की प्रतियां जलाकर विरोध दर्ज कराया है। इस पर लोक शिक्षण आयुक्त ने डीइओ ने उन शिक्षकों की सूची मांगी है। जिन्होंने आदेश का प्रतियां जलाई है।

शिक्षकों ने कहा कि 20-50 का फॉर्मूला कर्मचारी विरोधी है इसे सरकार स्तर से तत्काल वापस लिया जाए। क्योकि अनिवार्य सेवानिवृत्त प्राप्त कर्मचारी अध्यापक संवर्ग से है और उन्हे पुरानी पेंशन की पात्रता भी नहीं है जिससे उनकी सेवा से बर्खास्तगी के समान ही है। प्रदर्शन में उपस्थिति आक्रोषित शिक्षकों ने मांगे न माने जाने पर प्रान्त स्तर पर उग्र आन्दोलन की चेतावनी दी है। प्रदर्शन में शिक्षक कांग्रेस के संभागीय अध्यक्ष हर्षलाल शुक्ला, राज्य शिक्षक संघ के प्रान्तीय उपाध्यक्ष राघवेन्द्र सोहगौरा, सुभाष त्रिपाठी, शैलेन्द्र सिंह, डा.प्रमोद कुमार सिंह, सुधाकर तिवारी, रामायण पटेल, चितेन्द्र मिश्रा, विनीता पाण्डेय, हेमलाल चौरसिया, डा.सुनील तिवारी, निधि दुवे, विजय शंकर मिश्रा, भइयालाल साकेत, ज्ञानेन्द्र पटेल, रामविश्वास साकेत, नीरेश द्विवेदी, विनय तिवारी, कृष्ण कुमार तिवारी, धर्मेन्द्र द्विवेदी, शिवकुमार साकेत, उमेश पिडि़हा, सोमकांत पाण्डेय, सहित सेैकड़ो शिक्षक सामिल रहे।

शिक्षक बोले सेवा शर्त में नहीं है प्रावधान-
शिक्षकों ने बताया सरकार ने जिस दक्षता परीक्षा के आधार पर शिक्षकों पर यह कड़ा कदम उठा रही है। ऐसी परीक्षा लेने का प्रावधान सेवा शर्तो में नहीं है। इसके अतिरिक्त शिक्षकों को अनिवार्य सेवानिवृत्त करने से पहले शिक्षकों का पक्ष भी सरकार ने नहीं सुना है जो कि न्याय विरुद्ध है । इसके विरुद्ध व उच्च न्यायालय में याचिका भी दायर करेंगे।

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