फरवरी महीने में जिले के २० हजार बच्चों का पहले ही बेस
लाइन सर्वे किया जा चुका है, शेष बच्चों का ३१ जुलाई तक किया जाएगा। कमजोर बच्चों को स्कूल में ही नियमित कक्षाओं के अलवा विशेष कक्षाओं में उन्हें कम से कम आठवीं कक्षा तक की गणित, अंग्रेजी, विज्ञान और हिंदी विषय के शिक्षकों द्वारा पढ़ाया जाएगा।