सागरPublished: Jul 31, 2019 09:03:22 pm
sachendra tiwari
शासकीय पीजी कॉलेज के गर्ल्स हॉस्टल भवन पड़ हैं खाली
College buildings got damaged
बीना. शासकीय पीजी कॉलेज में बिना किसी योजना के हुए निर्माण कार्य बिना उपयोग के ही जर्जर होने लगे हैं। पहले निर्माण पर लाखों रुपए खर्च हुए अब इनकी मरम्मत कराने की तैयारी की जा रही है, जिसपर अब फिर से रुपए खर्च किए जाएंगे। जबकि अभी तय नहीं है कि मरम्मत के बाद इन भवनों का क्या उपयोग किया जाएगा।
पीजी कॉलेज में गर्ल्स हॉस्टल के लिए दो बड़े-बड़े भवन बनाए गए हैं। यह भवन जब से बने ही तब से ही खाली पड़े हैं। यहां हॉस्टल की शुरुआत आज तक नहीं हो पाई है। खाली पड़े यह भवन देखरेख के अभाव में ही जर्जर हो गए हैं। भवन के अंदर और बाहर परिसर में घास लगी हुई है, जिससे यहां जाने में भी छात्रों को डर लगता है। बिना उपयोग के ही जर्जर हुए इन भवनों की अब कॉलेज प्रबंधन द्वारा मरम्मत कराई जा रही है। मरम्मत के बाद इन भवनों का क्या उपयोग होगा इसका पता नहीं है। मरम्मत के नाम पर इन भवनों में फिर से लाखों रुपए खर्च कर दिए जाएंगे और फिर भवन में ताला लग जाएगा। प्रबंधन ने इन भवनों में कबाड़ा भरकर रखा है। कॉलेज में ऐसे कई कार्य हो रहे हैं, जिसमें सिर्फ रुपयों की बर्बादी हो रही है उसका लाभ कुछ नहीं है।
एक वर्ष पहले बनकर तैयार हो गया बॉयस हॉस्टल
गर्ल्स हॉस्टल के दो भवन जर्जर हो ही रहे हैं और इसके बाद फिर एक नया भवन पिछले वर्ष बनकर तैयार हुआ है जो बॉयस हॉस्टल का है। इस भवन पर भी लाखों रुपए खर्च कर दिए गए हैं। इस हॉस्टल में भी रहने के लिए कोई नहीं आया है और भवन में ताला डला हुआ है। यदि प्रबंधन को बॉयस हॉस्टल शुरू करनी थी तो खाली पड़े गर्ल्स हॉस्टल के भवन में भी यह हो सकता था।
लग चुके हैं भ्रष्टाचार के आरोप
निर्माण कार्यों को लेकर कॉलेज प्रबंधन पर पहले भ्रष्टाचार के आरोप भी लग चुके हैं, लेकिन कार्रवाई कुछ भी नहीं हुई है। कॉलेज में ऐसे और भी भवन हैं जो खाली पड़े-पड़े जर्जर हो गए हैं, जिसमें कॉलेज का छात्रा कक्ष भी शामिल है।
यूजीसी का होना है निरीक्षण
यूजीसी का निरीक्षण होना है, इसलिए भवनों की सफाई कराई जा रही है। भवनों की मरम्मत कराने पीडब्ल्यूडी को पत्र लिखा गया है।
डॉ. एके जैन, प्रभारी प्राचार्य, पीजी कॉलेज