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नगरोटा आतंकी हमलाः आर्मी अधिकारियों की पत्नियों ने दिखार्इ बहादुरी, टल गया ‘बंधक संकट’

locationसागरPublished: Nov 30, 2016 11:30:00 am

Submitted by:

Abhishek Pareek

मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, आतंकियों का प्लान कैंप में घुसकर लोगों को बंधक बनाना था। हालांकि वे इसमें कामयाब नहीं हो सके। जानकारी के मुताबिक दो सैन्य अधिकारियों की पत्नियों ने अपनी सूझबूझ से आतंकियों के मंसूबों पर पानी फेर दिया।

नगरोटा में में हुए आतंकी हमले में सेना के दो अधिकारी आैर पांच सैनिक शहीद हो गए। उरी हमले के बाद ये सबसे बड़ा आतंकी हमला बताया जा रहा है, लेकिन यदि सैन्य अधिकारियों की पत्नियों ने बहादुरी नहीं दिखार्इ होती तो नुकसान आैर बड़ा हो सकता था। 
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार, आतंकियों का प्लान कैंप में घुसकर लोगों को बंधक बनाना था। हालांकि वे इसमें कामयाब नहीं हो सके। जानकारी के मुताबिक दो सैन्य अधिकारियों की पत्नियों ने अपनी सूझबूझ से आतंकियों के मंसूबों पर पानी फेर दिया। पुलिस की यूनिफाॅर्म पहने हुए आतंकियों ने जब आर्मी की यूनिट पर हमला किया तो उनका मकसद फैमिली क्वार्टर्स में घुसना आैर वहां पर रहने वाले लोगों को बंधक बनाना था। 
एक आर्मी आधिकारी के अनुसार दो आर्मी अफसरों की पत्नियों ने साहस दिखाते हुए घर के कुछ सामानों की मदद से अपने क्वार्टर में घुसने वाले रास्ते को ब्लाॅक कर दिया। इसके चलते आतंकी घर में दाखिल नहीं हो सके। यदि इन महिलाआें ने बहादुरी नहीं दिखार्इ होती तो आतंकी बंधक बनाने में कामयाब हो जाते आैर इससे बहुत ज्यादा नुकसान हो सकता था। 
वहीं सेना के प्रवक्ता लेफ्टिनेंट कर्नल मनीष मेहता ने बताया कि आतंकी दो इमारतों में घुसे थे, जिनमें सैनिकों के परिवार रहते हैं। इससे बंधक संकट जैसे हालात बन गए थे। हालांकि तुरंत कार्रवार्इ की गर्इ आैर 12 सैनिकों, दो महिलाआें आैर दो बच्चों को निकाल लिया गया। इनमें से दो बच्चों की उम्र महज 18 महीने आैर दो महीने है। 

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