scriptVIDEO कंपनी का कॉल पड़ा पत्नी को भारी, ससुराल वालों को शक, शादी के पांच दिन बाद कर दिया घर से बाहर | Made five days after marriage, out of house | Patrika News

VIDEO कंपनी का कॉल पड़ा पत्नी को भारी, ससुराल वालों को शक, शादी के पांच दिन बाद कर दिया घर से बाहर

locationसागरPublished: Feb 09, 2018 12:09:07 pm

महिला आयोग की संयुक्त बैंच में रखे गए 37 प्रकरण

vFive days after marria

Five days after marriage

सागर. किसी से मोबाइल पर बात करना, किसी लड़की के चरित्र पर सवाल खड़े नहीं कर सकता। शादी के पांच दिन बाद चरित्र पर सवाल खड़े करके लड़की को यूं छोड़ देना घटिया और शर्मनाक मामला है। यह बात आयोग सदस्य अंजू सिंह बघेल ने एक प्रकरण पर सुनवाई करते हुए कही। उन्होंने शिक्षित हो रहे समाज में ऐसी सोच पर भी नाराजगी जताई।

महिला आयोग की संयुक्त बैंच ने सर्किट हाउस में गुरुवार को महिला संबंधी विवादों की सुनवाई की। मकरोनिया निवासी युवती के प्रकरण पर एक घंटे से ज्यादा देर सुनवाई हुई। युवती ने बताया कि शादी के पांच दिन बाद पति और ससुराल पक्ष के लोगों ने उसे प्रताडि़त कर मायके लाकर छोड़ दिया था। माता-पिता और बहन के साथ पहुंची युवती का कहना था कि वह एक निजी कंपनी में कार्यरत थी। शादी के बाद उसने नौकरी छोड़ दी। कंपनी से उसके लिए कॉल आए तो पति व ससुराल के लोग उस पर आक्षेप लगाने लगे, जबकि वह सबसे सामने बात करती थी। उसके साथ मारपीट की गई और बदनामी भी की गई।

सुनवाई में युवती के ससुर-सास ने आयोग सदस्यों के सामने जवाब पेश किया। सास ने कहा बहू के पास किसी लड़के का फोन आता था। वह अपने पुत्र के साथ कंपनी में कार्यरत लड़के को समझाने भी पहुंची थी लेकिन वहां विवाद व मारपीट की गई। इस सफाई को सदस्य अंजू सिंह बघेल ने खारिज कर दिया। उन्होंने टिप्पणी कर कहा कि केवल मोबाइल पर बात करने से चरित्र पर शंका नहीं की जा सकती। पांच दिन में एेसा क्या हो गया कि आपने बहू को मारपीट कर भगा दिया। आप किसी के चरित्र का सत्यापन नहीं कर सकते।

लापता बेटी ने शादी कर ली, उसे बुलाइए
अंचल से आए प्रकरण में माता-पिता ने आयोग सदस्यों से कहा उनकी बेटी गायब हो गई थी। संदेही युवक के साथ उसने शादी कर ली है और दोनों साथ में रह रहे हैं। हम उसे एक बार देखना चाहते हैं लेकिन बेटी को नहीं आने दिया जा रहा है। इस पर आयोग बैंच ने उसे उपस्थित करने के निर्देश दिए।
पति-पत्नी में अनबन की शिकायतें ज्यादा
सदस्य सूर्या चौहान ने बताया ३७ प्रकरणों को रखा गया था। इनमें से शाम ५ बजे तक १७ प्रकरणों पर सुनवाई की गई। दोनों पक्षों को सुनने के बाद १० का निराकरण किया गया। जबकि अन्य में कोर्ट में प्रकरण होने, अनावेदक पक्ष के न होने से उन पर बैंच के समक्ष अगली बार सुनवाई की जाएगी।
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