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सरकारी दफ्तरों में नहीं आग पर काबू पाने के यंत्र, कभी भी हो हो सकता है हादसा

locationसागरPublished: May 26, 2019 02:11:25 am

Submitted by:

vishnu soni

अग्निशमन यंत्र से वंचित शैक्षणिक संस्थाएं

No fire in the government offices, no one can ever get the accident

सरकारी दफ्तरों में नहीं आग पर काबू पाने के यंत्र, कभी भी हो हो सकता है हादसा

रहली. शासन द्वारा अग्नि हादसे की घटनाओं से निपटने के लिए सभी शासकीय कार्यालयों एवं शैक्षणिक संस्थाओं में अग्निशमन यंत्र लगाने के निर्देश हैं, लेकिन रहली में अधिकांश कार्यालय एवं शैक्षणिक संस्थाएं इन निर्देशों को दरकिनार किए हुए है।
रहली नगर में सभी बैंकों, वेयर हाउस कॉर्पोरेशन के आफिस एवं नपा कार्यालय को यदि छोड़ दिया जाए तो बांकी किसी भी शासकीय कार्यालय एवं शैक्षणिक संस्थाओ में ये व्यवस्था नहीं है। भगवान ना करें यदि किसी आफिस या स्कूल में यदि आगजनी की घटना हो तो बाद में केवल पश्चाताप ही हाथ रहेगा। अग्निशमक यंत्र लगाना सिर्फ मुनासिब नहीं है।
बल्कि इसका बाकायदा प्रशिक्षण भी होता है कि अचानक आग लग जाए तो कैसे तत्काल आग पर काबू पाया जा सके। पर यहां तो यंत्र ही नहीं है। फिर प्रशिक्षण की बात करना बेमानी होगी। जानकारी के अनुसार शासन द्वारा अब मार्डल फायर यंत्रों को भी अनिवार्य कर दिया गया है, जिस में धुआं या आग लगने पर वह स्वत: ही एक्टिव होकर काम करना शुरू कर देता है। लेकिन इसके बाद भी विभाग प्रमुखों की उदासीनता के चलते सुरक्षा व्यवस्था में चूक की जा रही है। सूरत के कोचिंग सेंटर में हुई घटना इसका ज्वलंत उदाहरण है।
इन कार्यालयों में नहीं अग्निशमक यंत्र
रहली के सरकारी कार्यालयों में जाकर देखने पर पाया गया कि महिला बाल विकास, वन विभाग, महाविद्यालय, राजस्व विभाग, लोक निर्माण विभाग, विद्युत विभाग, खाद्य विभाग, कृषि उपज मंडी, शासकीय अस्पातल, सिविल अस्पताल, बालक एवं बालिका छात्रावास, लोकसेवा केन्द्र, शिक्षा विभाग में बीआरसी एवं बीईओ कार्यालय के अलावा किसी भी शासकीय व अशासकीय स्कूल जहां बड़ी संख्या में बच्चे रहते हैं, वहां आग पर काबू करने का कोई उपाय रही है।
रहली नगर में प्रदेश का सबसे बड़ा एवं अत्याधुनिक जनपद भवन बनाया गया है, लेकिन यहां भी अग्निशमन यंत्र नहीं लगाए गए है। यहां तक कि रेत से भरी बाल्टियां भी सुरक्षा की दृष्टि से रखना विभाग के जिम्मेदार अधिकारियों ने उचित नहीं समझा। सभी अधिकारी यह कहकर बचते नजर आए कि कभी आवश्यकता नहीं पढ़ी। अब साहब को कौन समझाए कि आग आपसे पूछकर नहीं लगती है। फिलहाल जानकारी में आने के बाद व्यवस्था कराने की बात अधिकारियों द्वारा कही जा रही है।
सभी कार्यालयो एवं शैक्षणिक संस्थाओ में आग से बचाव के उपाय रखना अनिर्वाय है, जहां भी ये व्यवस्था नहीं है, वहां संबंधित विभाग प्रमुख को निर्देशित
किया जाएगा।।
सीएल वर्मा, एसडीएम

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