अॉफलाइन से कम नहीं ये अॉनलाइन, प्रदेश में हमारा नंबर जानकर आ जाएगी शर्म
सीसीटीएनएस रैंकिंग की टॉप-१० लिस्ट में सागर संभाग से सिर्फ पन्ना, कुछ माह पूर्व दो जिले थे

संजय शर्मा.सागर. कार्यशालाओं, प्रशिक्षण व अफसरों के जोर के बाद भी संभाग के जिलों का सीसीटीएनएस रैंकिंग में प्रदेश में बुरा हाल है। सोमवार को संभाग का पन्ना ही प्रदेश की टॉप-१० सूची में जगह बना पाया, वहीं सागर ४५वें पायदान पर रहा। इधर संभाग में भी सागर की स्थिति पांचों जिलों में सबसे पीछे रही। कुछ माह पहले संभाग के दो जिले प्रदेश की रैंकिंग में टॉप १० में शामिल थे, इस लिहाज से पिछले कुछ दिनों से थानों में सीसीटीएनएस वॢकंग के मामले में संभाग पिछड़ता जा रहा है।
क्या है सीसीटीएनएस: एफआईआर, अपराध विवरण, गिरफ्तारी पत्रक, संपत्ति जब्ती पत्रक और चालान संबंधी कार्रवाई ऑनलाइन ही सीसीटीएनएस पर अपलोड की जाती है। इस ऑनलाइन कार्य के आधार पर ही प्रदेश स्तर पर जिला की सीसीटीएनएस रैंकिंग तैयार होती है।
स्थिति पलटी
एससीआरबी द्वारा तय रैकिंग में २०१६ में पन्ना प्रदेश में पहले और दमोह दूसरे स्थान पर था। लेकिन अब स्थिति उलट हो गई है। इस वर्ष पन्ना टॉप-१० सूची में ७वें क्रम पर नीचे खिसक आया है तो दमोह अपनी जगह ही नहीं बना पाया।
हाल-ए-प्रदेश
एससीआरबी सूत्रों के अनुसार सीसीटीएनएस पर कार्रवाई के मामलों में सोमवार की स्थिति में प्रदेश के नीमच ने पहला स्थान बनाया है वहीं राजगढ़ और सीहोर क्रमश: दूसरे और तीसरे क्रम पर रहे हैं। वहीं प्रदेश के ५१ जिलों की रैकिंग में गुना ४९, इंदौर ५० और धार जिला ५१ वे रहा है। जबकि प्रदेश की राजधानी भोपाल-२२, उज्जैन ५, रीवा ३३, ग्वालियर २१ और जबलपुर ४६वें पायदान पर रहे हैं। ये वे शहर है जिनकी तुलना थानों की संख्या के आधार पर सागर जिले से की जाती है।
इंटरनेट बढ़ी परेशानी
जानकारी के अनुसार पुलिस थानों में सीसीटीएनएस पर होने वाली कार्रवाई इंटरनेट स्पीड और सर्वर की स्थिति पर निर्भर करती है। पुलिस थानों में बार-बार सर्वर डाउन होने से केवल एफआईआर दर्ज होने में ही काफी दिक्कतें आती हैं।
संभाग की स्थिति
संभाग में पन्ना अव्वल है। सागर को पांचवां स्थान मिला है। दमोह को दूसरा, टीकमगढ़ को तीसरा और छतरपुर को चौथे स्थान पर रखा गया है। रैंकिंग में सागर-छतरपुर के बीच तुलना की जाती है क्योंकि ये ३० से अधिक थानों वाले जिले हैं।
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