पं. शिवप्रसाद तिवारी ने बताया कि खरीदारी के लिए रवि योग उत्तम माना गया है। देवी अनुष्ठान, पूजन, सिद्धि साधना के लिए भी रवि योग अत्यंत महत्वपूर्ण योगों में से एक है रवि योग और रवि योग को सूर्य देव की शक्ति प्राप्त है सूर्य अधिष्ठात्री योग माना जाता है इस योगों में है। इसमें जो भी कार्य किया जाता है वह निष्फल नहीं होता है। उस कार्य में सूर्य के समान ऊर्जा आ जाती है। बहुत ही कम ऐसा हुआ है कि इतने रवि योग एक साथ में आए हैं। साधना और मनोकामना को सफल बनाने के लिए रवि योग महत्वपूर्ण है।
शुभ है सर्वार्थ सिद्धी योग
सर्वार्थ सिद्धि योग एक अत्यंत शुभ योग है जो निश्चित वार और निश्चित नक्षत्र के संयोग से बनता है। यह योग एक बहुत ही शुभ समय है जो कि नक्षत्र वार की स्थिति के आधार पर गणना किया जाता है। यह योग सभी इच्छाओं तथा मनोकामनाओं को पूरा करने वाला है।
भड़ला नवमी का अबूझ मुहूर्त
गुप्त नवरात्रि की नवमी को भड़ली नवमी भी कहते हैं। यह अबूझ मुहूर्त मानी जाती है। इस दिन कोई भी शुभ कार्य बिना मुहूर्त कर सकते हैं। नवमी 18 जुलाई शनिवार रात 3.41 बजे से शुरू होगी और रविवार रात 12.27 बजे समाप्त होगी। भड़ली नवमी पर विवाह, मकान, दुकान, गृह प्रवेश, गृह आरंभ जैसे सभी शुभ कार्य किए जा सकते हैं। इस दिन वैवाहिक आयोजन को अत्यंत शुभ मानते हैं।