ऐसे करते थे सप्लाई, खाते से पकड़ में आई फर्म
फर्म संचालक अरविंद जैन हिमाचल प्रदेश स्थित कंपनी से थोक में नशीली सिरप मंगवाता था। बाद में इसको तस्करों को नशे के रूप में बिक्री के लिए सप्लाई करता था। तस्कर उसके खाते में रुपए डालते थे और उसके हिसाब से सिरप की खेप सप्लाई कर दी जाती थी। इसका बिल तैयार नहीं किया जाता था। पुलिस के हाथ फर्म का खाता लग गया था, जिसमें लोगों द्वारा रुपए डालने की जानकारी सामने आई। पुलिस ने जब आगे जांच की तो फर्म का फर्जीवाड़ा सामने आ गया।
फर्म की कुंडली तैयार करने में जुटी पुलिस
फर्म संचालक व उसके पुत्र से लगातार अधिकारी पूछताछ कर रहे हैं। फर्म से अभी तक कितने लोगों ने कितनी मात्रा में नशीली सिरप मंगवाई है और किन-किन लोगों ने रुपए जमा किए हैं, उन सभी की पुलिस कुंडली तैयार करने में जुट गई है। मामले में अभी दूसरे तस्करों के नाम भी बढ़ेंगे, जिन्होंने रकम खाते में डिपाेजिट की है। कार्रवाई में डीएसपी मैहर राजीव पाठक, एसडीओपी त्योंथर उदित मिश्रा, सीएसपी रीतु उपाध्याय, थाना प्रभारी श्रंगेश सिंह राजपूत, उपनिरीक्षक शैल यादव, उपनिरीक्षक कन्हैया बघेल, उपनिरीक्षक संजीव शर्मा, उपनिरीक्षक रामनरेश तिवारी, उपनिरीक्षक इंद्रबली सिंह, उपनिरीक्षक विजय सिंह शामिल रहे।
दो माह में नशा कारोबारियों से 1.70 करोड़ की वसूले
नशे के खिलाफ पुलिस जोन में चलाए जा रहे अभियान में दो माह के भीतर पुलिस ने नशा कारोबारियों से 1.70 करोड़ वसूले है। पुलिस ने 79 लाख रुपए का नशा तस्करों के कब्जे से जब्त किया है। 91 लाख रुपए कीमत के 30 वाहन जब्त किए हैं। रीवा जोन में नशीली सिरप के 34 प्रकरण दर्ज किए गए हैं, जिसमें 18543 शीशी सिरप जब्त कर 71 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है। रीवा जिले में 9128 शीशी सिरप व 9600 टेबलेट जब्त की गई है।
सागर से पिता-पुत्र को गिरफ्तार किया है
सागर की एक फर्म संचालक व उसके पुत्र को गिरफ्तार किया गया है। उनके खातों में तस्कर रुपए डालते थे और वे कंपनी से सिरप मंगवाकर नियम विरुद्ध तरीके से सप्लाई करते थे। दोनों से पूछताछ की जा रही है। कुछ अन्य तस्करों के नाम सामने आए हैं जिनकी भी तलाश की जा रही है। इससे पूर्व यूपी के भी तीन मेडिकल स्टोर संचालक गिरफ्तार हो चुके हैं। नशे की सप्लाई चेन को तोड़ने का प्रयास किया जा रहा है।– एमएस शिकरवार, आईजी रीवा