पूछताछ में इन्हाेंने बताया कि 100 रुपये में आईकार्ड बनाया गया है। आईकार्ड बनाने वाले ने उन्हे कहा था कि वह अब इंवेस्टीगेशन अॉफिसर बन गए हैं आैर कहीं भी किसी भी दफ्तर में जाकर चेकिंग कर सकते हैं। हम आपकाे यहां यह भी बतादें कि इससे पहले भी इस तरह के कई मामले सामने आ चुके हैं जिनमें पुलिस ने फर्जी अफसराें के खिलाफ कार्रवाई भी की। फिलहाल इस मामले में काेई अपराध नहीं हाेने आैर तीनाें युवकाें के छात्र हाेने की वजह से पुलिस ने इन्हे चेतावनी देकर छाेड़ दिया है।
किसी भी संस्था में शामिल हाेने से पहले रहे सावधान एसएसपी सहारनपुर उपेंद्र अग्रवाल का कहना है कि किसी भी संस्था में शामिल हाेने से पहले उस संस्था के बारे में ठीक तरह से पड़ताल जरूर कर लें। यदि आपकाे एेसा लगे कि संस्था का रजिस्ट्रेशन नहीं है ताे इसकी भी जांच जरूर करें। एेसी संस्थाआें से जुड़ने से बचे जाे आपकाे किसी तरह की पद नियुक्ति के एवज में पैसाें की डिमांड करती हाें या फिर किसी भी तरह का अधिकारिक पद देने का दावा करती हाें। जाे एजेंसियां संस्थाएं आैर संगठन आपकाें एेसे पद देने का दावा करती हाें जाे किसी सरकारी या गैर सरकारी अधिकारी के समकक्ष बताया जा रहा हाे ताे समझ लीजिए वह धाेखा है। एेसी संस्थाएं फर्जी हाे सकती हैं आैर एेसी संस्थाआें के साथ काम करने वाले भी कानून के शिकंजे के में फंस सकते हैं।