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अलीगढ़: खिलौना-पिस्तौल की फ़ैक्ट्री में भीषण विस्फोट, चार की मौत, कई घायल देवबंद दारुल उलूम के मेहमानखाने में चल रही मजलिस-ए-शूरा में दूसरे दिन बैठके के तीन चरण पूरे होने के बाद वार्षिक बजट समेत कई अहम मुद्दों पर सदस्य एकमत नहीं हुए है। वहीं, देशभर के छात्रों को राहत पहुंचाने के लिए दारुल उलूम को खोलने पर सभी सदस्य एकमत दिखाई दिए। उन्होंने सर्वसम्मति से सरकार की गाइडलाइंस आने पर 10 नवंबर से दारुल उलूम को खोलने पर सहमित दे दी है।
बैठक में सदर मुदर्रिस और शेखुल हदीस के पद को लेकर भी कोई फैसला नहीं हो सका है। सूत्रों की मानें तो जमीयत उलमा-ए-हिंद के अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी को सदर मुदर्रिस की जिम्मेदारी मिल सकती है। जबकि शेखुल हदीस मौलाना मुफ्ती हबीबुर्रहमान आजमगढ़ी को बनाया जा सकता है। वहीं, मोहतमिम को लेकर शूरा सदस्य बड़ा फैसला ले सकते हैं। माना जा रहा है कि मोहतमिम को उक्त पदों में से किसी एक की जिम्मेदारी मिल सकती है। वहीं मोहतमिम किसी ओर को बनाया जा सकता है।