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Exclusive: चाेरी कर 20 हजार में बेचे गए मासूम काे पुलिस ने महज एक घंटे में किया बरामद, जानिए कैसे

locationसहारनपुरPublished: Jun 17, 2019 02:24:55 am

Submitted by:

shivmani tyagi

रिश्तेदार ने किया था बच्चे काे चाेरी
चाेरी के बाद 20 हजार में हुआ साैदा
यूपी 100 पर मिली बच्चा गुम हाेने की सूचना
शक हाेने पर रिश्तेदार से की गई पूछताछ
जानिए किस लिए किया गया बच्चा चाेरी

saharanpur police

चाेरी गया बच्चा बरामद

सहारनपुर। यह खबर आपकाे राेंगटे खड़े कर देगी। सरसावा क्षेत्र से एक बच्चे काे चाेरी कर महज 20 हजार रुपये में बेच दिया गया। बच्चा गुम हाेने की घटना से परिवार में काेहराम मच गया। इससे पहले कि बच्चे के साथ काेई अप्रिय घटना घटती पुलिस ने इसे सकुशल बरामद कर लिया। अपने जिगर के टुकड़े को सही सलामत देखकर बच्चे के माता-पिता की आंखें भर आई। माँ ने बच्चे काे सीने से लगा लिया तो पिता ने नम आंखों से यूपी पुलिस का धन्यवाद करते हुए कहा कि “पुलिस की नजर में यह सिर्फ बच्चा बरामदगी का मामला हाे सकता है लेकिन पुलिस ने सिर्फ बच्चा बरामद नहीं किया है बल्कि एक गरीब परिवार काे जिंदगी लाैटाई है।
मासूम बच्चे काे घर से ही चाेरी कर लिए जाने की यह कहानी किसी सस्पेंस वाली हिंदी फिल्म से कम नहीं है। इस आशंका से इंकार नहीं किया जा सकता कि, अगर पुलिस इस मामले में थोड़ी सी भी लापरवाही कर जाती तो फिर शायद ही यह बच्चा कभी मिल पाता। यह आशंका भी यूं ही नहीं जताई जा रही इसका भी एक बड़ा कारण है। दरअसल बच्चे काे एक रिश्तेदार नहीं चाेरी किया था। नाटकीय ढंग से चाेरी की इस घटना काे अंजाम दिया गया था। चाेरी करने वाले दंपति ने इस पुलिस और परिवार की आंखाें में धूल झाेंकने की पूरी कहानी पहले से ही तैयार कर रखी थी। आप यह जानकर हैरान रह जाएंगे कि, बच्चे को बेचने के बाद आरोपी वापस इसी परिवार के बीच लौट आया था और बच्चे की तलाश में जुट गया था। ऐसे में थोड़ी सी भी देर हमेशा-हमेशा के लिए इस बच्चे को अपने माता पिता से काफी दूर ले जा सकती थी।
बच्चा चाेरी
जानिए क्या है पूरा मामला

मासूम बच्चे काे चाेरी कर लिए जाने की यह घटना सरसावा थाना क्षेत्र के गांव सलाेनी में रहने वाले एक गरीब परिवार के साथ घटी। मेघराज और इसकी पत्नी रेशमा के तीन बच्चे हैं। रविवार काे बच्चे घर पर ही थे और मेघराज अपनी पत्नी के साथ खेत पर था। इसी बीच घर पर मेघराज का रिश्तेदार प्रवीण पहुंचा और बहला-फुसलाकर मेघराज के पांच वर्षीय बेटे सौरभ काे अपने साथ ले गया। बच्चा चोरी करने के लिए प्रवीण अपनी पत्नी रेणू को भी साथ लेकर आया था। दोनों बच्चे को लेकर फिल्मी अंदाज में चिलकाना थाना क्षेत्र के गांव सुल्तानपुर की ओर निकल गए। यहां इन्हाेंने पहले से बच्चे का बेचने की बात की हुई थी।
सहारनपुर एसएसपी दिनेश कुमार पी के अनुसार बच्चा चाेरी करने वालाे ने चिलकाना के सुल्तानपुर गांव में एक परिवार को यह बच्चा ₹20000 में बेच दिया। पुलिस प्रवीण पर शक ना करें यही सोचकर प्रवीण बच्चे काे बेचने के बाद दोबारा मेघराज के घर पहुंच गया और बच्चे की तलाश में जुटने का नाटक करने लगा। इस परिवार को कहीं तक भी प्रवीण पर यह शक नहीं था कि उनका ही रिश्तेदार और उनके ही बीच में बैठा प्रवीण उनके बेटे काे चाेरी कर सकता है।
जब काफी देर तक बच्चे का कोई सुराग नहीं लगा तो परिवार ने सूचना यूपी 100 काे दी। मासूम बच्चे के गुम हाे जाने की इस सूचना काे सरसावा थाना पुलिस ने गंभीरता से लिया और तुरंत पुलिस मौके पर पहुंची। सरसावा थाना प्रभारी प्रमाेद कुमार के अनुसार उन्होंने परिवार के सभी सदस्यों से इस मामले में जरूरी जानकारी ली और इसी दौरान जब प्रवीण से कुछ बातें पूछी गई तो उसके माथे पर पसीने आने लगे। प्रवीण के माथे पर आए इन पसीनो ने पुलिस को एक लाइन दे दी और तुरंत पुलिस ने शक के आधार पर प्रवीण को हिरासत में ले लिया।
पूछताछ के लिए प्रवीण को थाने लाया गया और जब पुलिस ने थोड़ी सी शक्ति के साथ पूछताछ की तो प्रवीण ने सारा राज खोल दिया। यह राज बेहद चौंका देने वाला था जिसे सुनकर खुद पुलिसकर्मी भी हैरान रह गए। प्रवीण ने बताया कि मैं पिछले कई दिनों से बच्चे के अपहरण की योजना बना रहा था लेकिन माैका नहीं लग रहा था। आज जब मेघराज और उसकी पत्नी खेत में काम करने गए हुए थे तो उसने अपनी पत्नी के साथ मिलकर बच्चे को चोरी कर लिया और फिर इस बच्चे को सुल्तानपुर के एक गांव में ₹20000 में बेच दिया। यह खबर पुलिस के लिए बेहद महत्वपूर्ण तो थी लेकिन अब सबसे बड़ी चुनाैती बच्चे की सकुशल बरामदगी की थी।
पुलिस ने बिना देरी किए प्रवीण को गाड़ी में बैठाया और सुल्तानपुर गांव की ओर निकल पड़ी। रात के अंधेरे में पुलिस की गाड़ी की लाइट दूर से ही गांव में दिखाई दे गई और ऐसे में वह परिवार सतर्क हो गया जिसने इस बच्चे को ₹20000 में खरीदा था। रात के अंधेरे में गांव की ओर बढ़ रही कार की लाइट देखकर परिवार का मुखिया फरार हो गया लेकिन गनीमत रही कि पुलिस ने इस बच्चे को सही सलामत बरामद कर लिया। पुलिस अब प्रवीण और उसकी पत्नी से पूछताछ कर रही है और यह भी पता लगाने की कोशिश कर रही है कि क्या इस दंपत्ति ने पहले भी कोई बच्चा चोरी किया है ? पुलिस यह भी पता लगाने की कोशिश कर रही है कि इस बच्चे को चोरी करने के पीछे क्या उद्देश्य था। यह अलग बात है कि अभी तक पुलिस के पास जो जानकारी है उसके मुताबिक जिस परिवार को यह बच्चा बेचा गया था उस परिवार की महिला को तीन बेटियां हैं लेकिन एक भी बेटा नहीं है। सिजेरियन ऑपरेशन से तीन बेटियों को जन्म दे चुकी मां अब आगे किसी बच्चे को जन्म नहीं दे सकती थी, ऐसा डॉक्टरों ने उसे कहा था और यही कारण था कि अब उस महिला को एक बेटे की चाह थी।
इस महिला ने प्रवीण से कहा था कि वह बेटा चाहती है और प्रवीण ने ₹20000 में बेटा लाकर देने की बात कही थी। पुलिस अब यह भी पता लगाने की कोशिश कर रही है कि क्या खरीदने वाले परिवार को यह पता था बच्चा चोरी करके लाया गया है। अगर खरीदने वाले परिवार को इस बात का पता था कि बच्चा चोरी करके लाया गया है तो इस परिवार को भी प्रवीण और उसकी पत्नी के साथ ही न्यायालय के समक्ष पेश किया जाएगा और दोनों पर समान चार्ज लगाए जाएंगे।
जब एसएसपी ने एसओ को कहा थैंक्स

यह पल किसी भी पुलिसकर्मी के लिए बेहद गाैरवपूर्ण और जिंदगी भर की यादगार हाेते हैं। जब सहारनपुर एसएसपी दिनेश कुमार को इस बात का पता चला कि सरसावा पुलिस टीम में अपहरण कर ₹20000 में बेचे गए बच्चे को महज एक घंटे में सही सलामत बरामद कर लिया है तो एसएसपी ने पुलिस टीम के इस कार्य की सराहना करते हुए टीम को स्पेशल रूप से धन्यवाद बाेला। एसएसपी ने कहा कि यह गुड वर्क बेहतरीन पुलिसिंग का हिस्सा है और जिस तरह से राइट टाइम एक्शन के साथ पुलिस टीम ने मासूम बच्चे को बरामद किया है और एक परिवार को उसकी खुशियां लौटाई है। यह अपने आप में एक बड़ी बात है। ऐसे कार्यों से पब्लिक में पुलिस के प्रति विश्वास और सम्मान की भावना विकसित होती है।
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