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लहरा ऊपर नौका डोले, नौका में गणगौर

locationसतनाPublished: Apr 04, 2019 09:35:46 pm

Submitted by:

Jyoti Gupta

गणगौर उत्सव: मारवाड़ी महिला मंडल के कार्यक्रम में महिलाओं ने मचाया धमाल

gangaur celebration with marwani mahila mandal in satna city

gangaur celebration with marwani mahila mandal in satna city

सतना. सोलह शृंगार में महिलाओं का सजना-संवरना, एक-दूसरे से हंसी ठिठोली करने के साथ ही ईसर गौरा की आराधना करना वह भी ढोल और परपंरागत गीतों के साथ, तो सच में एेसा नजारा हमेशा के लिए मन में बस जाता है। गुरुवार को मारवाड़ी महिला मंडल द्वारा ब्लू लोटस रिसॉर्ट में गणगौर उत्सव मनाया गया। माता गौरा और ईसर को महादेव का स्वरूप मानकर पूजाकर पुष्प वर्षा के साथ गणगौर का स्वागत कर अखंड सौभाग्य की कामना की। समाज की 100 से अधिक सजी-धजी महिलाएं एक साथ इस उत्सव में चार चांद लगाने पहुंचीं। धमाल मचाया। मस्ती भी की। सभी ने गणगौर गीत सोलह दिन के लिए आई गणगौर, लहरा ऊपर नौका डोले, नौका में गणगौर पर जमकर ठुमके लगाएं। सभी ने एक-दूसरे को टाइटल दिए। हाउजी खेली। मनोरंजनात्मक खेलों का आनंद उठाया। क्विज के माध्यम से ईसर और गौरा का चुनाव किया गया। ईसर मेघना कनोडिया और गौरा साधना मानसिंहा बनी।
गणगौर मेलोडी में झूमीं महिलाएं
कार्यक्रम का आकर्षण गणगौर पर आधारित मेलोडी गीत रहे। इन्हें समाज की महिलाओं द्वारा फिल्मी गीतों पर तैयार किया और इन्हीं गीतों पर सभी ने मनमोहक नृत्य प्रस्तुत किए। राजस्थान का लोकप्रिय गीत पल्लो लटको और घूमर पर सभी ने जमकर ठुमके लगाएं। गणपता नूत्यां, हनुमत नूत्या, श्याम धनी ने बुलावा हो गीत से इस मेलेडी की शुुरुआत की गई। इसके बाद फूलों का तारों का सबका कहना है, एक हजार में मेरी बहना है, झिनी- झिनी उड़े रे गुलाल, ईसर रो जामों रंग जासी, ओ बिंदिया वाली गौरा एेसा काहे निहारे, चंदन की चौकी चंदनिया बिछाअरी, गौरा चांद सा मुखड़ा तेरा जैसे गीतों पर घंटो महिलाएं झूमती रहीं। इस बीच सभी ने सेल्फी और फोटो भी जमकर क्लिक की।
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