भगवान श्रीराम की कर्मभूमि व धर्म नगरी चित्रकूट के प्रत्येक परिवार में पांच-पांच दीपक जलाने का संकल्प लिया गया है। हर घर शाम का धुंधलका छटते ही दीपों से जगमगा जाएगा। घर-घर प्रभु राम के गीत गाए जाएंगे। मंदिरों में विशेष पूजन-अर्चन का सिलसिला तो सुबह से ही शुरू हो चुका है। अब मंदिरों की छटा भी शाम को देखने काबिल होगी जब मंदिर के प्रस्तर सोपानों से लगायत शिखर तक झिलमिल रोशनी में दमक उठेंगे।
साथ ही कामतानाथ प्राचीन मुखारबिंद से लेकर पूरे परिक्रमा क्षेत्र में व रामघाट पर कम से कम 21 हजार दीपों की लड़ियों से चित्रकूट क्षेत्र को जगमग किया जाएगा। चित्रकूट में कई स्थानों पर अखंड रामायण का पाठ शुरू कर दिया गया है। सभी मठ-मंदिरों, संस्थाओं व प्रमुख स्थानों पर लाइटिंग की गई है। चित्रकूट में नगर से लेकर गांवों तक घर-घर दीपक जलेंगे।
दीनदयाल शोध संस्थान के संगठन सचिव अभय महाजन ने बताया कि भारत रत्न नानाजी देशमुख के आवास सियाराम कुटीर में प्रसाद वितरण के साथ दीनदयाल शोध संस्थान के राम दर्शन सहित सभी प्रकल्पों में हनुमान चालीसा एवं सुंदर कांड व प्रसाद वितरण किया गया। इसके अलावा सभी स्थानों पर लाइटिंग भी कराई गई है।