scriptचंबल घडिय़ाल अभयारण्य मेें शामिल हो सकती हैं पार्वती व बनास नदी | Banaas and parvati rivers soon be a part of chambal reserv | Patrika News

चंबल घडिय़ाल अभयारण्य मेें शामिल हो सकती हैं पार्वती व बनास नदी

locationसवाई माधोपुरPublished: Aug 01, 2020 07:06:20 pm

Submitted by:

Arun verma

वन विभाग तैयार कर रहा प्रस्ताव, घडिय़ाल व अन्य जलीय जीवों को मिलेगा संरक्षण

चंबल घडिय़ाल अभयारण्य मेें शामिल हो सकती हैं पार्वती व बनास नदी

सवाईमाधोपुर. बनास नदी में नजर आया घडिय़ाल।

शुभम मित्तल
सवाईमाधोपुर. राष्ट्रीय चंबल घडिय़ाल अभयारण्य क्षेत्र को विस्तार देते हुए जल्द ही राजस्थान की बनास व मध्यप्रदेश की पार्वती नदी क्षेत्र को शामिल किया जा सकता है। इसके लिए वन विभाग की ओर से कवायद शुरू कर दी गई है। इसके लिए प्रस्ताव तैयार किया गया है। जल्द ही बनास व पार्वती नदी क्षेत्र सवाईमाधोपुर चंबल अभयारण्य क्षेत्र का हिस्सा होगा।
एमपी से मंगाया प्रपोजल
स्थानीय वनाधिकारियों ने इस संबंध में मध्यप्रदेश वन विभाग की ओर से तैयार किए गए प्रस्ताव की प्रति मंगाई है। वनाधिकारियों ने बताया कि मध्यप्रदेश से प्राप्त प्रस्ताव की स्टडी के बाद स्थानीय स्तर पर प्रस्ताव तैयार करके वाइल्ड लाइफ बोर्ड व अन्य उच्च अधिकारियों को भिजवाया जाएगा।
पार्वती नदी पहले से शामिल
एमपी में पार्वती नदी को चंबल अभयारण्य में शामिल किया जा चुका है। लेकिन सवाईमाधोपुर जिले में जहां पार्वती नदी का इलाका है। उसे अभी तक चंबल अभयारण्य की सीमा में शामिल नहीं किया गया है।
बनास भी होगी शामिल
बनास नदी को चंबल अभयारण्य में शामिल नहीं किया गया है, लेकिन पिछले दिनों वन विभाग को बनास नदी में भी घडिय़ाल नजर आया था। इसके बाद से वन विभाग की ओर से बनास नदी में भी घडिय़ालों के संरक्षण की संभावनाओं को तलाशा जा रहा है। ऐसे में अब वन विभाग की ओर से बनास नदी को अभयारण्य में शामिल करने के लिए प्रस्ताव तैयार किया जा रहा है।
इनका कहना है…
राष्ट्रीय चंबल घडिय़ाल अभयारण्य में बनास व पार्वती नदी के क्षेत्र को शामिल करने को लेकर प्रस्ताव तैयार किए जा रहे हैं। यदि ऐसा होता है तो घडिय़ालों व अन्य दुर्लभ जलीय जीवों के संरक्षण में लाभ होगा।
– फुकरान अली, उपवन संरक्षक, राष्ट्रीय चंबल घडिय़ाल अभयारण्य, सवाईमाधोपुर।
बॉक्स…
राष्ट्रीय चंबल घडिय़ाल अभयारण्य
– 1978 में हुई थी स्थापना
– 5400 वर्ग किमी का क्षेत्र
– 400 किमी चंबल नदी क्षेत्र शामिल
– 3 प्रदेशों से में अभयारण्य क्षेत्र
– 250 तरह के पक्षियों की मिलती हैं प्रजातियां

ट्रेंडिंग वीडियो