scriptप्रदूषण का समाधान करेगी ‘थ्री डी प्रिंटिंग’ | 3D printing to solve pollution problem | Patrika News

प्रदूषण का समाधान करेगी ‘थ्री डी प्रिंटिंग’

Published: Apr 05, 2016 06:53:00 pm

थ्री-डी प्रिंटिंग की शक्ति का उपयोग करने के लिए शोधकर्ताओं ने पहले से ही
इस पर काम करना शुरू कर दिया है, जिससे यह समझ आ सके कि कैसे मुद्रित
संरचना रसायनिक प्रतिकार को प्रभावित करती है

Pollution

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न्यूयॉर्क। अमरीकी शोधकर्ताओं की एक टीम ने ‘थ्री-डी प्रिंटिंग’ तकनीक के माध्यम से हथेली में समा जाने वाली एक ‘स्पॉन्ज’ जैसी संरचना तैयार की है, जो प्रदूषण को कम करने में कारगर साबित हो सकती है। अमरीकन यूनिवर्सिटी के रसायनशास्त्र के प्रोफेसर मैथ्यू हार्टिंग्स के नेतृत्व में शोधकर्ताओं ने दर्शाया कि कैसे सक्रिय रसायन विज्ञान के साथ वाणिज्यिक थ्री-डी प्रिंटर का उपयोग कर एक संरचना बनाई जा सकती है।

शोधकर्ताओं की टीम ने ‘थ्री-डी प्रिंटिंग’ प्रक्रिया के दौरान रासायनिक सक्रिय टाइटेनियम डाइऑक्साइड (टीआईओ 2) के नैनो कणों को मिलाकर एक ‘स्पॉन्ज’ के समान एक प्लास्टिक सांचे का निर्माण किया। टीम ने पाया कि प्रकाश के टीआईओ 2 के संपर्क में आने के बाद किस तरह प्रदूषण छंट जाएगा। इससे यह साबित हुआ कि इस प्रक्रिया में पानी, वायु और कृषि स्रोतों से प्रदूषण को समाप्त करने की क्षमता है।

हीर्टिंग्स ने कहा, यह केवल प्रदूषण के बारे में नहीं है, लेकिन इसमें कई अन्य प्रकार की रासायनिक प्रक्रियाएं हैं, जिनमें लोगों की रुचि हो सकती है। प्रदूषण उपशमन को प्रदर्शित करने के लिए शोधकर्ताओं ने ‘स्पॉन्ज’ के समान तैयार प्लास्टिक के सांचे को पानी में डाला और इसमें एक जैविक अणु (प्रदूषक) भी मिलाया, जिसमें प्रदूषक नष्ट हो गया।

थ्री-डी प्रिंटिंग की शक्ति का उपयोग करने के लिए शोधकर्ताओं ने पहले से ही इस पर काम करना शुरू कर दिया है, जिससे यह समझ आ सके कि कैसे मुद्रित संरचना रसायनिक प्रतिकार को प्रभावित करती है।
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