Office Shift: ऑफिस की शिफ्ट बदलने से व्यक्ति में दिखने लगते हैं बूढ़े होने के लक्षण
शोधकर्ताओं ने किया इस बात का दावा
टेलोमेरेस एंजाइम का होना, इसका एकमात्र कारण है
नई दिल्ली।ऑफिस ( office ) के कारण होने वाले स्ट्रेस ( Stress ) से न सिर्फ दिमागी बीमारी ( mental disorder ) होती है, बल्कि उम्र पर भी इसका बुरा असर पड़ता है। हाल ही में हुए एक शोध ( research ) में खुलासा हुआ है कि ऑफिस में बार—बार शिफ्ट बदलने के कारण व्यक्ति उम्र से पहले बूढ़ा हो सकता है।
मिशिगन यूनिवर्सिटी ( university ) के शोधकर्ताओं के अनुसार, ऑफिस में लगातार शिफ्ट बदलने का असर व्यक्ति की दिनचर्या पर पड़ता है। वे ठीक ढंग से अपनी नींद पूरी नहीं कर पाते। इससे उनकी शारीरिक क्षमता ( physical ability) कम होने लगती है और समय से पहले ही बुढ़ापे की दहलीज तक पंहुुच जाते हैं।
शोधकर्ता ने अपने अध्ययन में पाया कि काम को लेकर तनाव में रहने वाले लोग अन्य के मुकाबले छह गुना अधिक तेजी से बूढ़े होते हैं। इस बात को साबित करने के लिए उन्होंने 250 युवा डॉक्टरों पर शोध किया। उन सभी के टेलोमेरेस की लंबाई पता लगाने के लिए उनके सलाइवा का नमूना इकट्ठा किया गया। टेलोमेरेस कोशिकाओं में पाया जाता है।
टेलोमेरेस एंजाइम क्या है? टेलोमेरेस मानव कोशिकाओं का एक अनिवार्य हिस्सा हैं जो कि हमारी कोशिकाओं की आयु को प्रभावित करते हैं। वैज्ञानिकों का कहना है कि टेलोमेरेज जितना लंबा होता है, उसकी उम्र भी अधिक होती है, लेकिन तनाव, धूम्रपान, मोटापे, व्यायाम की कमी और खराब आहार टेलोमेरेज़ की लंबाई को कम कर देता है। जिससे व्यक्ति समय से पहले ही बुढ़ापे के शिकार हो जाता है।
शोध के निष्कर्ष में यह भी सामने आया कि का तनाव ना सिर्फ बड़ों पर बल्कि बच्चों और युवाओं पर भी दिखने लगता है। जिसके कारण वो समय से पहले बूढ़े दिखने लगते हैं। उनमें बालों का सफेद होना,पाचन तंत्र और आंखों की रोशनी कमजोर होना आदि लक्षण दिखाई देने लगते हैं। इसके लक्षण है। इसके अलावा तनाव के बढ़ने से टेलोमेरेस क्रोमोजोम की लंबाई छोटी होने लगती है। जिससे डायबिटीज, हाई ब्लड प्रेशर और हृदय संबंधी रोगों के साथ ही समय से पहले बूढ़े होने के लक्षण सामने आने लगते हैं।
वैज्ञानिकों ने दिए इस बीमारी से बचने के टिप्स -अपने दिनचर्या के काम-काज में सुधार लाएं। -घंटों तक लगातार काम करने से बचें। -खानपान में बदलाव लाएं। -छह से आठ घंटे की नींद लेना बहुत जरूरी है।