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तकनीक से जुड़ी जटिलताओं को इन समाधान के जरिए सुलझा सकते हैं

Published: Jul 30, 2017 05:09:00 pm

आज के दौर में टेक्नोलॉजी से जुड़ी जटिलताएं काफी बढ़ चुकी हैं

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पावर ड्रैन को रोकें
स्टैंडबाई मोड में भी ज्यादातर डिवाइस थोड़ी मात्रा में पावर खर्च करते रहते हैं। इसे वैंपायर पावर कहा जाता है। पावर की यह छोटी-सी मात्रा आपके मासिक बिल को काफी बढ़ा सकती है। इस खर्च से मुक्ति पाने के लिए हमेशा इस बात का ध्यान रखें कि किसी भी डिवाइस को स्टैंडबाई मोड पर छोडऩे के बजाय आपको मैन सप्लाई बंद करनी चाहिए। आप चाहें तो डीएक्स डॉट कॉम से एक पावर कन्जम्पशन मॉनीटर खरीद सकते हैं। इसकी कीमत लगभग एक हजार रुपए है। यह किसी भी कनेक्टेड डिवाइसेज से कन्ज्यूम होने वाली एनर्जी को दर्शाता है। इस मॉनीटर में न्यूमेरिक डिस्प्ले होता है, जो कनेक्टेड डिवाइसेज की वॉल्टेज रीडिंग भी दर्शाता है। बेल्किन भी पावर बचाने के लिए एक कन्जर्व सॉकेट ऑफर करता है। इसमें आप समय सेट कर सकते हैं।

करें केबल मैनेजमेंट
जैसे-जैसे टेक्नोलॉजी बढ़ती जाती है, वैसे-वैसे केबल का जाल भी बिखरने लगता है। इस समस्या से मुक्ति पाने के लिए आप बेसिक केबल कवर ऑर्गनाइजर ले सकते हैं। यह एक फ्लेक्सिबल पाइप होता है, जिससे सभी वायर्स को कवर करके छुपा सकते हैं। आप जिप टाइज से सभी केबल्स को बांध भी सकते हैं। घर को पेंट करवाना चाहते हैं तो केबल्स को दीवारों में भी फिट करवा सकते हैं। तारों के जंजाल से मुक्ति पाने के लिए वायर्ड डिवाइस को वायरलेस में कन्वर्ट कर सकते हैं। इसके लिए लैटेनटेक की वायरलेस एचडीएमआई किट ले सकते हैं।

चार्ज करें मल्टीपल डिवाइसेज
जो भी चीज यूएसबी से चार्ज होती है, वहां हमेशा 5 वोल्ट का वोल्टेज होता है। एंपियर इस बात को निर्धारित करता है कि आपका डिवाइस कितनी जल्दी चार्ज होगा। उदाहरण के तौर पर आईपैड का चार्जर 5 वोल्ट और 2.1 एंपियर पर चार्ज करता है। अगर ऐसा चार्जर इस्तेमाल कर रहे हैं जो केवल 1 एंपियर देता है तो आईपैड चार्ज तो होगा, पर इसे फुल चार्ज होने में दोगुना समय लगेगा। मल्टीपल पोर्टेबल डिवाइसेज यूएसबी चार्जिंग को सपोर्ट करते हैं। ऐसे में आप बाजार से पोर्टेनिक्स का 6 पोर्ट यूएसबी चार्जर ले सकते हैं। हर पोर्ट एक एंपियर पर 5 वोल्ट पावर सप्लाई करता है।

राउटर प्लेसमेंट के नियम
वा ई-फाई सिग्नल राउटर से बाहर की ओर एक घेरे में निकलते हैं। इसलिए यदि ज्यादा से ज्यादा वाई-फाई कवरेज चाहते हैं तो राउटर को घर के सेंटर में रखना चाहिए ताकि सिग्नल्स चारों ओर पहुंच सकें। वाई-फाई सिग्नल्स हमेशा ऊपर से नीचे की ओर ट्रैवल करते हैं। इसलिए ज्यादा कवरेज के लिए राउटर को ऊंचाई पर सेट करना चाहिए। वाई-फाई सिग्नल्स को दो चीजों से नुकसान पहुंचता है- मोटी दीवारें और दूसरे डिवाइसेज जैसे कोर्डलेस फोन, माइक्रोवेब ओवन या वायलेस हेडफोन का इंटरफेरेंस। राउटर और डिवाइसेज के बीच में मोटी दीवार न हो। बीच में मोटी दीवार होगी, तो कम सिग्नल मिलेंगे।

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