यह माना जाता है कि सौर हवाओं ने मंगल के वायुमंडल को धीरे-धीरे खत्म कर दिया और ग्रीनहाउस प्रभाव को बढ़ा दिया। जिससे आखिरकार हाइड्रोलॉजिकल चक्र हो गया होगा। उमिया यूनिवर्सिटी जो की स्वीडन में स्थित है, यहां के रॉबिन रैमस्टेड ने यह साझा किया कि ‘मंगल पर धरती की तरह चुंबकीय ध्रुव नहीं होते, लेकिन सौर हवाएं ऊपरी वायुमंडल में तरंगे बनाती रहती हैं। जिसके कारण यहां एक तरह का चुंबकीय क्षेत्र यानी इंड्यूस्ड मैग्नेटोस्फेयर बन जाता है। वह आगे बताते हैं कि, “लंबे समय से यह माना जाता रहा है कि खुद पैदा नहीं होने वाला यह चुंबकीय क्षेत्र मंगल के वायुमंडल को सुरक्षित रखने में पर्याप्त नहीं है”।
रॉबिन ने बताया, “हालांकि जो हमारे पास प्रमाण हैं वो कुछ और दिखाते हैं।” पहले की बातों को माने तो यह बिलकुल उलटा है। चुंबकीय क्षेत्र भी मंगल के वायुमंडल को सौर हवाओं के प्रभाव से सुरक्षित रखता है। यह एक आम कल्पना है कि सौर हवाओं ने मंगल के वायुमंडल को धीरे-धीरे खत्म कर दिया जिसने ग्रीनहाउस के प्रभाव को बढ़ा दिया और जिससे हाइड्रोलॉजिकल चक्र हमेशा के लिए नष्ट हो गया। इस शोध के आगे बढ़ने पर यह तथ्य और रोचक हो जाएंगे।