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नये साल 2020 का आखिरी दिन, जानिये आज क्या है खास

locationसीहोरPublished: Dec 31, 2019 05:47:58 pm

आज श्रीराम भक्त व रुद्रवतार श्री हनुमान का व नये साल 2020 का पहला दिन प्रथम पूज्य श्रीगणेश का दिन…

नये साल 2020 का आखिरी दिन, जानिये आज क्या है खास

नये साल 2020 का आखिरी दिन, जानिये आज क्या है खास

सीहोर। आज वर्ष 2019 का आखिरी दिन यानि 31 दिसंबर को मंगलवार Tuesday का दिन है। इस दिन के कारक देव श्रीराम भक्त व रुद्रवतार श्री हनुमान hanuman हैं। मंगल mars को उत्साह का कारक माना जाता है, वहीं इसका रत्न मूूंगा होता है।

मंगल दोष के कारण लोगों के विवाह में कठिनाई आती है। इसके हमारी जन्म कुंडली janam kundali में स्थित सभी 12 भावों में इसका प्रभाव भिन्न होता है।

आज जन्म लिए बच्चे todays birth
आज यानि 31 दिसंबर 2019 को जन्म birth लिए बच्चों के नाम (सा, सी, सू, से) अक्षरों पर रख सकते हैं। आज जन्मे बच्चों का जन्म तांबे के पाए में होगा। सूर्योदय से लेकर सम्पूर्ण दिवस पर्यन्त तक कुम्भ राशि Aquarius रहेगी। आज जन्म लिए बच्चे शरीर से प्रतिभाशाली होंगे।

सामान्यत: इनका भाग्योदय करीब 25 वर्ष की आयु में होगा। ऐसे जातक स्वतंत्र विचारों Free thoughts के व संघर्ष प्रेमी होंगे। धुनमिजाज की प्रवृत्ति व सामान्य धन-सम्पदाशील Money rich वाले होंगे। वैज्ञानिक दृष्टिकोण रहेगा। कुम्भ राशि में जन्मे जातक को अत्यधिक वस्तु संग्रहण से बचना चाहिए। परोपकारी गुण को भी नहीं छोडऩा चाहिए।

मंगल से जुड़े रहस्य: mars Mystery
वैदिक ज्योतिष में मंगल ग्रह ऊर्जा, भाई, भूमि, शक्ति, साहस, पराक्रम, शौर्य का कारक होता है। मंगल ग्रह को मेष और वृश्चिक राशि का स्वामित्व प्राप्त है। यह मकर राशि में उच्च होता है, जबकि कर्क इसकी नीच राशि है। वहीं नक्षत्रों में यह मृगशिरा, चित्रा और धनिष्ठा नक्षत्र का स्वामी होता है।

गरुण पुराण के अनुसार मनुष्य के शरीर में नेत्र मंगल ग्रह का स्थान है। यदि किसी जातक का मंगल अच्छा हो तो वह स्वभाव से निडर और साहसी होगा तथा युद्ध में वह विजय प्राप्त करेगा। लेकिन यदि किसी जातक की जन्म कुंडली में मंगल अशुभ स्थिति में बैठा हो तो जातक को विविध क्षेत्रों में कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है। मंगल ग्रह लाल रंग का प्रतिनिधित्व करता है।

31 दिसंबर 2019 मंगलवार : सूर्योदयकालीन लग्न व ग्रह स्थिति…

तिथि
सूर्योदय से दोप. 04.01 मि. तक पूर्णा संज्ञक पंचमी तिथि रहेगी
पश्चात नंदा संज्ञक षष्ठी तिथि लगेगी। पंचमी तिथि में सर्पराज की पूजा करने से विष का भय नहीं रहता, स्त्री और संतान दोनों प्राप्त होते हैं और श्रेष्ठ लक्ष्मी भी प्राप्त होती है। षष्ठी तिथि में कार्तिकेय की पूजा करने से मनुष्य श्रेष्ठ मेधावी, रूप संपन्न, दीर्घायु और
कीर्ति को बढ़ाने वाला हो जाता है।

योग
सूर्योदय से रात्रि 09.04 मि. तक सिद्धि योग रहेगा पश्चात व्यतिपात योग लगेगा। सिद्धि योग के स्वामी श्रीगणेश माने जाते हैं जबकि व्यतिपात योग के स्वामी रुद्रदेव माने गए हैं।

विशिष्ट योग
सिद्धि योग के स्वामी स्वयं श्रीगणेश होने से इस योग में शुभ कार्य किए जा सकते हैं। व्यतिपात को अशुभ योग माना जाता है। सम्पूर्ण शुभ कार्यों की शुरुआत के लिए व्यतिपात योग का त्याग किया जाता है।

करण
सूर्योदय से दोप. 04.01 मि. तक बालव नामक करण रहेगा पश्चात कौलव नामक करण लगेगा। इसके पश्चात तैतिल नामक करण लगेगा।

नक्षत्र
सूर्योदय से अर्धरात्रि 01.27 मि. तक चर चल शतभिषा नक्षत्र रहेगा पश्चात उग्र क्रूर पूर्वा भाद्रपद नक्षत्र लगेगा। नए-पुराने वाहनों का क्रय-विक्रय, वाहन के उपयोग, वाहन से यात्रा करने या सवारी आदि के लिए शतभिषा नक्षत्र शुभ माने गए हैं। मकान, दुकान, मठ, मंदिर, छत, कुआं, सड़क और जल संबंधी कार्य शतभिषा एव? पूर्वाभाद्रपद दोनों नक्षत्र में करना शुभ रहता है।

शुभ मुहूर्त
आज के मुहूर्त – अनुकूल समय में समस्त कृषि कर्म करने के लिए शुभ मुहूर्त है।

श्रेष्ठ चौघडि़ए
चौघडिय़ा के अनुसार समय – प्रात: 09.47 मि. से दोप. 01.46 मि. तक क्रमश: चंचल लाभ व अमृत के चौघडिय़ा रहेंगे।

व्रतोत्सव
व्रत/पर्व – ईस्वी वर्ष 2019 पूर्ण।
चंद्रमा – सूर्योदय से लेकर सम्पूर्ण दिवस पर्यन्त तक चंद्रमा वायु तत्व की कुम्भ राशि में रहेंगे।
पंचक – पंचक जारी रहेंगे।

दिशाशूल- उत्तर दिशा में। (अगर हो सके तो आज के दिन उत्तर दिशा में यात्रा को टालना चाहिए)।

राहु काल – दोप. 03.06.29 से 04.26.12 तक राहु काल वेला रहेगी। अगर हो सके तो इस समय में शुभ कार्यों को करने से बचना चाहिए।

शुभ विक्रम संवत् : 2076
संवत्सर का नाम : परिधावी
शाके संवत् : 1941
हिजरी संवत् : 1441
मु.मास : जमादि उल अव्वल 04
अयन : दक्षिणायण
ऋतु : शिशिर ऋतुु
मास : पौष
पक्ष : शुक्ल पक्ष


01 जनवरी 2020 का पंचांग : भोपाल panchang of 01 jan.2020 …
तिथि: षष्ठी – 18:29:11 तक
नक्षत्र: पूर्वाभाद्रपद – 28:23:11 तक
योग: व्यतीपात – 21:49:18 तक
करण: तैतिल – 18:29:11 तक
चन्द्र राशि: कुम्भ – 21:38:41 तक
पक्ष: शुक्ल
ऋतु: हेमंत
शक सम्वत: 1941 विकारी
विक्रम सम्वत: 2076
काली सम्वत: 5121
सूर्योदय: 07:01:53
सूर्यास्त: 17:45:54
चन्द्रोदय: 11:22:00

वहीं साल 2020 का पहला दिन बुधवार का होगा। इस दिन के कारक देव प्रथम पूज्य श्रीगणेश माने जाते है। बुध का रंग हरा व रत्न पन्ना है। यह ग्रह बुद्धि का स्वामी माना गया है।

ज्योतिष में बुध ग्रह को एक शुभाशुभ ग्रह माना गया है अर्थात ग्रहों की संगति के अनुरूप ही यह फल देता है। यदि बुध ग्रह शुभ ग्रहों (गुरु, शुक्र और बली चंद्रमा) के साथ होता है तो यह शुभ फल देता है और क्रूर ग्रहों (मंगल, केतु, शनि राहु, सूर्य) की संगति में अशुभ फल देता है।

बुध ग्रह मिथुन और कन्या राशि का स्वामी है। कन्या इसकी उच्च राशि भी है जबकि मीन इसकी नीच राशि मानी जाती है। 27 नक्षत्रों में बुध को अश्लेषा, ज्येष्ठा और रेवती नक्षत्र का स्वामित्व प्राप्त है। हिन्दू ज्योतिष में बुध ग्रह को बुद्धि, तर्क, संवाद, गणित, चतुरता और मित्र का कारक माना जाता है। सूर्य और शुक्र, बुध के मित्र हैं जबकि चंद्रमा और मंगल इसके शुत्र ग्रह हैं। बुध का वर्ण हरा है और सप्ताह में बुधवार का दिन बुध को समर्पित है।

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